कोलकाताः सरकारी विमान कंपनी एयर इंडिया को खरीदने की दौड़ में फिर एक और कंपनी का नाम आ गया है। दरअसल रुइया समूह ने सरकारी क्षेत्र की इस एयरलाइन की शत प्रतिशत हिस्सेदारी खरीदने के लिए रुचि-पत्र प्रस्तुत किया है। सरकार द्वारा तय शर्त के अनुसार इस एयरलाइन के लिए बोली लागने वाले के पास कम से कम 3500 करोड़ रुपए की शुद्ध परिसम्पत्ति होनी चाहिए।
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सूत्रों ने कहा कि रुइया घराने को यकीन है कि इस शर्त को पूरा करने में उसे कोई दिक्कत नहीं होगी। सूत्रों ने बताया कि रुइया समूह ने रुचि-पत्र (ईओआई) के साथ अपनी जिन सम्पत्तियों का विवरण दिया है उनमें डनलप, फैलकान और जेस्सप एंड कंपनी की सम्पत्तियां शामिल नहीं है। घाटे और कर्ज में फंसी एयर इंडिया को खरीदने की दौड़ में टाटा समूह और एयर इंडिया के कर्मचारियों का समूह भी शामिल है।
रुइया समूह के पूर्व चेयरमैन पवन रुइया को कंपनियों को वित्तीय संकट से उबरने का विशेषज्ञा माना जाता है। इस मामले में डनलप इंडिया, फैलकान टायर्स और जेस्सप एंड कंपनी को बहुत जल्दी वित्तीय संकट से उबार कर पटरी पर लाने का उदाहरण दिया जाता है। एयर इंडिया के लिए रुइया घराने की चाल अप्रत्याशित रही है। समूह यह दाव ऐसे समय लगा रहा है जबकि उपरोक्त तीन कंपनियों के अधिग्रहण के बाद बैंकों ने उससे कर्जों की मांग शुरू कर दी है और समूह अदालती पचड़ों में उलझा है।Iphone पर Dainik Savera App डाउनलॉड करें