हफ्ते में एक बार अवश्य रखें Fast, शरीर और दिमाग दोनों को होगा लाभ

बहुत लोग भगवान को प्रसन्न करने के लिए उपवास यानि के व्रत रखते है। हमने बहुत बारे कई लोगों को यह कहते हुए सुना है कि हमें हफ्ते में एक दिन व्रत अवश्य रखना चाहिए। लेकिन यह बात बहुत कम लोग जानते है कि इससे सिर्फ भगवान ही प्रसन्न नहीं होते बल्कि हमारे शरीर और.

बहुत लोग भगवान को प्रसन्न करने के लिए उपवास यानि के व्रत रखते है। हमने बहुत बारे कई लोगों को यह कहते हुए सुना है कि हमें हफ्ते में एक दिन व्रत अवश्य रखना चाहिए। लेकिन यह बात बहुत कम लोग जानते है कि इससे सिर्फ भगवान ही प्रसन्न नहीं होते बल्कि हमारे शरीर और दिमाग को भी बहुत से फायदे। तो आइए जानते है क्या है वह कुछ लाभ:

क्या है उपवास ?

व्रत की परिभाषा हर व्यक्ति के मुताबिक अलग-अलग हो सकती है। आमतौर पर उपवास के दौरान व्यक्ति किसी निर्धारित समय के लिए किसी खास भोजन और पीना छोड़ देते है। कभी-कभी व्यक्ति व्रत के दौरान पानी, फल या सिर्फ जूस ही लेते हैं और कभी दिनभर में कुछ भी नहीं लेते। उपवास की अवधि एक दिन, एक सप्ताह या इससे ज्यादा भी हो सकती है। जैसा कि आपको पता है कि उपवास न सिर्फ श्रद्धा और भक्ति से जुड़ा होता है, बल्कि इसके स्वास्थ्य लाभ भी कई हैं।

उपवास के स्वास्थ्य लाभ

शरीर को डिटॉक्सीफाई करे

उपवास के फायदे में शरीर को साफ करना शामिल है। नेशनल सेंटर फॉर बायोटेक्नोलॉजी इनफार्मेशन (NCBI) की रिसर्च पेपर के अनुसार, यदि ऐसा उपवास रखा जाए, जिसमें खाद्य पदार्थों के सेवन के बजाय तरल पदार्थ शामिल हों, तो शरीर सही प्रकार से डिटॉक्सीफाई हो सकता है। इससे पाचन बेहतर होने के साथ ही पेट संबंधी परेशानियां और स्किन संबंधी समस्याएं कम हो सकती हैं।

वजन कम करे

आज के समय में अधिकतर लोगों की परेशानी मोटापा है। ऐसे में समय रहते इस पर ध्यान न दिया गया, तो यह कई शारीरिक समस्याओं की वजह भी बन सकता है। वैसे वजन कम करने के लिए उपवास अच्छा तरीका हो सकता है। पबमेड सेन्ट्रल की रिसर्च पेपर के अनुसार, इंटरमिटेंट फास्टिंग से बढ़ती चर्बी को कम करने में सहायता मिल सकती है। इस उपवास में ठोस पदार्थों की जगह पेय पदार्थों का सेवन किया जाता है या फिर खाने का समय बदला जाता है।

पाचन तंत्र के लिए फायदेमंद

उपवास पाचन तंत्र के लिए भी फायदेमंद हो सकता है। उपवास करने से शरीर के खुद का हीलिंग तंत्र सही से कार्य करता है, जिससे शरीर कई प्रकार की परेशानियों से खुद-ब-खुद लड़ना शुरू कर देता है। रिसर्च के अनुसार, 62.33% लोगों को उपवास के दौरान अपच की परेशानी नहीं हुई, 27% लोगों की अपच की परेशानी ठीक हो गई। साथ ही व्रत को “चमत्कारिक इलाज” भी कहा जाता है, जिससे पाचन संबंधी विकार दूर हो सकते हैं।

स्किन के लिए भी है लाभकारी

कई बार सिर्फ क्रीम और कॉस्मेटिक का ही नहीं, बल्कि खान-पान का प्रभाव भी स्किन पर होने लगता है। ज्यादा तेल-मसाले या बाहरी खाने से स्किन रूखी और बेजान दिखने लगती है और कील-मुंहासे भी हो सकते हैं। ऐसे में व्रत लाभकारी हो सकता है। उपवास रखने से शरीर डिटॉक्सीफाई हो सकता है। जब शरीर डिटॉक्सीफाई होगा, तो शरीर में मौजूद विषाक्त तत्व बाहर निकलेंगे, जिससे स्किन में नई चमक आएगी और त्वचा खूबसूरत और चमकदार दिखने लगेगी।

मानसिक और भावनात्मक लाभ

व्रत का प्रभाव सिर्फ शारीरिक स्वास्थ्य पर ही नहीं, बल्कि मानसिक और भावनात्मक स्वास्थ्य पर भी होता है। इससे एकाग्रता में सुधार हो सकता है। साथ ही ध्यान केंद्रित करने में मदद मिल सकती है। यहीं नहीं, चिंता-तनाव और अनिद्रा जैसी परेशानी दूर करने के लिए भी उपवास को जाना जाता है। उपवास करने से व्यक्ति को भावनात्मक रूप से शांत रहने और खुशी का एहसास करने में सहायता मिल सकती है।

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