बलूचिस्तान। पाकिस्तान में आतंकवाद और अपराध लगातार बढ़ते जा रहे हैं। आतंकियों, उग्रवादियों और सामान्य अपराधियों ने देश की स्थिति को बहुत ही खराब कर दिया है। कानून-व्यवस्था पूरी तरह से चरमरा चुकी है और सुरक्षा एजेंसियां इसे नियंत्रित करने में नाकाम साबित हो रही हैं। हर दिन कोई न कोई आपराधिक घटना सामने आ रही है। वहीं, बलूचिस्तान प्रांत में एक बार फिर एक भयावह हमला हुआ, जहां उग्रवादियों ने एक बस रोककर सात पंजाबी यात्रियों की निर्मम हत्या कर दी।
अल्पसंख्यकों को बनाया जा रहा है निशाना
पाकिस्तान में अपराध और आतंकवाद का शिकार कोई भी हो सकता है, लेकिन अल्पसंख्यकों पर सबसे अधिक हमले हो रहे हैं। कई बार देखा गया है कि आतंकवादी और उग्रवादी समूह विशेष रूप से अल्पसंख्यकों को निशाना बनाते हैं। हाल ही में एक ऐसी ही घटना पाकिस्तान के बलूचिस्तान प्रांत में हुई, जहां पंजाबी समुदाय के लोगों को उग्रवादियों ने निशाना बनाया।
बलूचिस्तान में बस यात्रियों पर हमला
मंगलवार की रात एक यात्री बस बलूचिस्तान की राजधानी क्वेटा से पंजाब के लाहौर जा रही थी। जब यह बस बलूचिस्तान के बरखान जिले के पास क्वेटा-डेरा इस्माइल खान हाईवे पर पहुंची, तो अचानक कुछ हथियारबंद उग्रवादियों ने इसे रोक लिया। वे बस में घुस गए और यात्रियों के पहचान पत्र चेक करने लगे।
7 पंजाबी यात्रियों की गोली मारकर हत्या
उग्रवादियों ने जब बस में बैठे यात्रियों की जांच की, तो उन्हें 7 पंजाबी लोग मिले। इसके बाद उन सभी को बस से बाहर निकाला और गोली मारकर उनकी हत्या कर दी। इस हमले के बाद पूरे इलाके में दहशत का माहौल बन गया है।
बलूच लिबरेशन आर्मी ने ली हमले की ज़िम्मेदारी
इस जानलेवा हमले की ज़िम्मेदारी बलूच लिबरेशन आर्मी (BLA) ने ली है। बीएलए पाकिस्तान में सक्रिय एक उग्रवादी संगठन है, जो बलूचिस्तान की स्वतंत्रता की मांग करता है और पाकिस्तानी सरकार और सेना के खिलाफ हथियार उठाए हुए है।
बीएलए ने क्यों किया हमला?
बलूच लिबरेशन आर्मी का दावा है कि पाकिस्तानी सेना बलूच लोगों को ज़बरदस्ती गायब कर रही है और उन्हें प्रताड़ित कर रही है। बीएलए की इंटेलिजेंस विंग ‘जीरब’ की रिपोर्ट के अनुसार, इस बस में पाकिस्तानी सेना और खुफिया एजेंसी आईएसआई से जुड़े लोग सवार थे। संगठन का मानना है कि मारे गए पंजाबी लोग पाकिस्तानी सेना और खुफिया एजेंसियों से जुड़े थे। हालांकि, इस दावे की अभी तक कोई आधिकारिक पुष्टि नहीं हुई है। पाकिस्तानी मीडिया इन पीड़ितों को सामान्य नागरिक बता रही है।
पाकिस्तान में बढ़ रहा उग्रवाद और असुरक्षा का माहौल
इस घटना ने पाकिस्तान में बढ़ते उग्रवाद और कानून-व्यवस्था की खराब स्थिति को फिर से उजागर कर दिया है। खासकर बलूचिस्तान में हिंसा और आतंकवाद की घटनाएं लगातार बढ़ रही हैं। आम नागरिक असुरक्षित महसूस कर रहे हैं और सरकार भी इन हमलों को रोकने में विफल साबित हो रही है।