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न्यायालय ने तिरुपति लड्डू विवाद की CBI जांच की मांग वाली जनहित याचिका खारिज की

नई दिल्ली। उच्चतम न्यायालय ने पूर्ववर्ती वाई एस जगन मोहन रेड्डी नीत सरकार के दौरान तिरुपति मंदिर के लड्डू बनाने में पशु चर्बी के कथित इस्तेमाल की सीबीआई जांच का आग्रह करने वाली जनहित याचिका को शुक्रवार को खारिज कर दिया। न्यायमूर्ति बी आर गवई और न्यायमूíत के वी विश्वनाथन की पीठ ने सामाजिक कार्यकर्ता.

नई दिल्ली। उच्चतम न्यायालय ने पूर्ववर्ती वाई एस जगन मोहन रेड्डी नीत सरकार के दौरान तिरुपति मंदिर के लड्डू बनाने में पशु चर्बी के कथित इस्तेमाल की सीबीआई जांच का आग्रह करने वाली जनहित याचिका को शुक्रवार को खारिज कर दिया। न्यायमूर्ति बी आर गवई और न्यायमूíत के वी विश्वनाथन की पीठ ने सामाजिक कार्यकर्ता और संगठन ‘ग्लोबल पीस इनिशिएटिव’ के अध्यक्ष के ए पॉल द्वारा दायर याचिका खारिज कर दी। पीठ ने कहा, आपके निवेदन के अनुसार, हमें सभी मंदिरों, गुरुद्वारों आदि के लिए अलग व्यवस्था बनानी होगी। हम यह निर्देश नहीं दे सकते कि किसी विशेष धर्म के लिए एक अलग व्यवस्था बनाई जाए।’’ पॉल ने अपनी याचिका में लड्डू प्रसादम की खरीद और निर्माण में भ्रष्टाचार तथा कुप्रबंधन के आरोपों की केंद्रीय अन्वेषण ब्यूरो (सीबीआई) से व्यापक जांच कराए जाने का आग्रह किया था।

शीर्ष अदालत ने करोड़ों लोगों की भावनाओं को देखते हुए चार अक्टूबर को तिरुपति लड्डू तैयार करने में पशु चर्बी के इस्तेमाल के आरोपों की जांच के लिए पांच सदस्यीय स्वतंत्र एसआईटी का गठन किया था। इसने स्पष्ट किया था कि अदालत का इस्तेमाल ‘‘राजनीतिक युद्ध के मैदान’’ के रूप में नहीं किया जा सकता। पॉल ने अपनी जनहित याचिका में कहा कि आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री एन चंद्रबाबू नायडू द्वारा ‘लड्डू प्रसादम’ के निर्माण में मिलावटी घी सहित घटिया सामग्री का इस्तेमाल करने का आरोप लगाए जाने से भक्तों के बीच गंभीर चिंताएं पैदा हो गई हैं और प्रसाद की पवित्रता पर सवाल खड़ा हो गया है।

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