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सौ करोड़ रुपये या अधिक के कारोबार वाली कंपनियों को IRP पर e-Invoices सात दिन में डालना होगा

नई दिल्ली: सौ करोड़ रुपये और उससे अधिक के कारोबार वाली कंपनियों को अपने इलेक्ट्रॉनिक इन्वॉयस (चालान) को सात दिन के अंदर चालान पंजीकरण पोर्टल (आईआरपी) पर डालना होगा। माल एवं सेवा कर नेटवर्क (जीएसटीएन) ने बृहस्पतिवार को कहा कि यह व्यवस्था एक मई से लागू होने जा रही है। इस तरह का चालान जारी.

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नई दिल्ली: सौ करोड़ रुपये और उससे अधिक के कारोबार वाली कंपनियों को अपने इलेक्ट्रॉनिक इन्वॉयस (चालान) को सात दिन के अंदर चालान पंजीकरण पोर्टल (आईआरपी) पर डालना होगा। माल एवं सेवा कर नेटवर्क (जीएसटीएन) ने बृहस्पतिवार को कहा कि यह व्यवस्था एक मई से लागू होने जा रही है। इस तरह का चालान जारी होने के सात दिन के भीतर ऐसी कंपनियों को इसे इलेक्ट्रॉनिक रूप में आईआरपी पर ‘अपलोड’ करना होगा। अभी कंपनियां इस तरह के इन्वॉयस को वर्तमान तिथि पर डालती है। इसमें इन्वॉयस को जारी करने की तिथि से कोई लेना-देना नहीं होता।

करदाताओं के लिए एक परामर्श में जीएसटी नेटवर्क ने कहा कि सरकार ने 100 करोड़ रुपये से या उससे अधिक के सालाना कारोबार वाले करदाताओं के लिए पुराने चालान को ई-इन्वॉयस आईआरपी पोर्टल पर ‘रिपोर्ट’ करने की समयसीमा तय करने का फैसला किया है। जीएसटीएन ने कहा कि समय पर अनुपालन सुनिश्चित करने के लिए इस श्रेणी के करदाताओं को सात दिन से अधिक पुराने इन्वॉयस को ‘रिपोर्ट’ करने की अनुमति नहीं होगी। करदाताओं को इसके लिए पर्याप्त समय देने के लिए इस नए फॉर्मेट को एक मई, 2023 से क्रियान्वित किया जाएगा। उदाहरण देते हुए जीएसटीएन ने कहा कि यदि किसी चालान पर एक अप्रैल, 2023 की तिथि पड़ी है तो उसे आठ अप्रैल, 2023 के बाद डॉलने की अनुमति नहीं होगी।

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