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India की विकास गाथा बरकरार: FIEO

नई दिल्ली: फियो के अध्यक्ष डॉ. ए शक्तिवेल ने कहा है कि विस्तारित और विविधीकृत होता वस्तु व्यापार अपने आप में भारत की विकास गाथा के बारे में सबकुछ बता रहा हैं जो सबसे तेजी से बढती अर्थव्यवस्थाओं में से एक के रुप में मजबूत बना हुआ है। फियो अध्यक्ष ने आज यहां जारी एक बयान में कहा कि हालांकि हाल के महीनों में मुख्य रुप से वैश्विक विकास में सुस्ती, बढ़ती महंगाई , मुद्राओं में अस्थिरता तथा भू-राजनीतिक परिदृश्य में निरंतर बदलाव के कारण वस्तु निर्यात में कुछ गिरावट देखी गई है पर भारत कुछ सेक्टरों को छोड़कर अपने निर्यात में सकारात्मक रुझान प्रदर्शित करके निरंतर स्थिर और गतिशील बना हुआ है।

वैश्विक प्रतिकूल स्थिति तथा सिकुड़ते वैश्विक व्यापार की पृष्ठिभूमि में चालू वित्त वर्ष के दौरान अब तक 8.5 प्रतिशत से अधिक की वृद्धि युक्तिसंगत रही है। फियो अध्यक्ष का मानना है कि हालांकि आने वाले महीने थोड़े चुनौतीपूर्ण होने वाले हैं। वैश्विक आर्थिक विकास और भू-राजनीतिक स्थिति दोनों में बहुत बड़ा सुधार नहीं होता है तब तक यह स्थिति रह सकती है। फिर भी भारत चालू वित्त वर्ष में 3से 5 प्रतिशत की वृद्धि के साथ लगभग 435-445 अरब डॉलर के निर्यात को आसानी से छूकर पिछले वर्ष के निर्यात लक्ष्य को पार करने की राह पर अग्रसर है। डॉ. शक्तिवेल ने कहा कि फियो निर्यात समुदाय को प्राथमिक सहायता एवं संरक्षण प्रदान करने तथा इस प्रकार भारत के निर्यात को बढ़ावा देने का निरंतर प्रयास करता रहा है और वह 19 फरवरी, 2023 को अपना 58वां संस्थापना दिवस मना रहा है।

समारोह भारत सरकार के वाणिज्य एवं उद्योग मंत्रालय की वन डिस्ट्रिक्ट वन प्रोडक्ट (ओडीओपी) तथा डिस्ट्रिक्ट एज एक्सपोर्ट हब (डीईएच) पहल के रुप में देश भर में कई प्रमुख क्षमता निर्माण कार्यक्रमों के आयोजन के साथ आरंभ होंगे। इससे पूर्व, फेडेरेशन ने पिछले एक साल के दौरान देश भर में 100 से अधिक ऐसे क्षमता निर्माण कार्यक्रमों का सफलतापूर्वक आयोजन किया है जो प्रशिक्षण और कौशल विकास के माध्यम से निर्यातकों को अधिक से अधिक प्राथमिक सहायता और संरक्षण को बढ़ावा देता है जिससे हमारा निर्यात और अधिक प्रोत्साहित होता है।

देश भर के जिलों में इस तरह के प्रशिक्षण कार्यक्रमों के माध्यम से 1000 से अधिक नए निर्यातक मुख्य धारा विदेश व्यापार क्षेत्र में शामिल हो गए हैं और उन्होंने कम समय में ही 1500 करोड़ रुपये से अधिक का वस्तु निर्यात किया है। तीन सप्ताह तक चलने वाले कार्यक्रमों की परिणति नई दिल्ली में सोर्सेक्स इंडिया (मार्च 9-11, 2023) नाम के कार्यक्रम के माध्यम से ‘‘मेक इन इंडिया’’ को प्रदर्शित करने के द्वारा विश्व भर में ब्रांड इंडिया को और अधिक बढ़ावा देने का जरिया होगी। सोर्सेक्स इंडिया 2023 (रिवर्स बेयर सेलर मीट- आरबीएसएम) ‘‘मेक इन इंडिया’’ को ग्लोबल बनाने के लिए भारत का पहला ग्लोबल मार्केट प्लेस होगा जिसमें फूड और गैर फूड फास्ट मूविंग कंज्यूमर गुड्स (एफएमसीजी) तथा सर्विसेज दोनों को कवर किया जाएगा।

आरबीएसएम भारतीय कंपनियों को अंतरराष्ट्रीय बाजारों में सफल भारतीय ब्रांड लांच करने में मदद करेगा। इसके अतिरिक्त, सोर्सेक्स इंडिया भारत की कुछ ऐसी चुनी हुई सेवाओं को भी प्रदर्शित करेगा जिनमें विदेशों में फ्रैंचाइजी लेने की क्षमता है। डॉ. शक्तिवेल ने कहा कि इसके अतिरिक्त, यह फूड, फार्मा एवं आयुर्वेद, हस्तशिल्प, हथकरघा, एफएमसीजी एवं एफएमसीडी, गिफ्ट, कपड़ा तथा संबद्ध वस्तुओं सहित हमारे फोकस क्षेत्रों को भी रेखांकित करेगा। 35 देशों एवं 7 क्षेत्रों के 250 से अधिक खरीदारों ने सुपरमार्केट, हाइपरमार्केट, रिटेल चेन, आयातकों एवं खरीदार घरानों ने पहले ही अपनी दिलचस्पी प्रदर्शित कर दी है और उनके इस मेगा कार्यक्रम में भाग लेने की उम्मीद है।

फियो अध्यक्ष ने कहा कि पिछले 10 महीनों के दौरान, फियो ने संबंधित देशों में अंतरराष्ट्रीय एक्सपो में सहभागिता के माध्यम से जौर्डन, किर्गीस्तान, सर्बिया, पुर्तगाल, बांग्लादेश, जापान, अजरबैजान, उज्बेकिस्तान, पोलैंड, रोमानिया तथा क्यूबा आदि विभिन्न नए और उभरते बाजारों में 39 अंतरराष्ट्रीय शो (36 वास्तविक एवं 3 वर्चुअल) में भारत का प्रतिनिधित्व किया है। इसके अतिरिक्त, फेडेरेशन ने वाणिज्य विभाग के एक नोडल एजेंसी के रुप में बांग्लादेश के ढाका में ‘‘बेस्ट ऑफ इंडिया एक्सपो’’ का भी आयोजन किया तथा फिलीपीन्स में अब तक के पहले व्यवसाय शिष्टमंडल का, ओमान तथा नेपाल के वक्ताओं के साथ एमएसएमई पर अंतरराष्ट्रीय सम्मेलन तथा तंजानिया के 47 सदस्यीय व्यवसाय शिष्टमंडल के साथ एक बी2बी बैठक का आयोजन किया।

फेडेरेशन ने तिरुपुर टैक्स्टाइल क्लस्टर की तरह विकसित होने की क्षमता रखने वाले 75 संभावित टैक्स्टाइल डिस्ट्रिक्ट की एक सूची की भी पहचान करने के लिए एक विश्लेषण भी किया है। इसके अतिरिक्त, फियो का बिजनेस इनक्यूबेशन सेंटर, नए उद्यमियों को सही उत्पाद का चयन करने, निर्यात करने के लिए देश की पहचान करने, बैंकरों से जुड़ने आपूर्तिकर्ताओं की पहचान करने तथा उन्हे और दस्तावेजीकरण में मदद करने के लिए प्राथमिक सहायता भी प्रदान करता है। यह सेंटर निर्यात व्यवसाय करने के लिए केंद्रित और सचेत प्रयास करने के लिए सही माहौल उपलब्ध कराता है तथा इसने 500 से अधिक नए उद्यमियों को 2500 करोड़ रुपये से अधिक का निर्यात करने वाले नए एमएसएमई निर्यातकों में रुपांतरित कर दिया है। फियो अध्यक्ष ने कहा कि इसके अतिरिक्त फेडेरेशन ने विदेशी बाजारों में बाजार पहुंच, मानकों, सुरक्षा और विनियमनों से संबंधित मुद्वों पर भी सहायता प्रदान की।

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