नई दिल्ली: वित्तीय प्रौद्योगिकी कंपनी फोनपे का वित्त वर्ष 2022-23 के लिए एकीकृत राजस्व 77 प्रतिशत बढक़र 2,914 करोड़ रुपये हो गया। कंपनी ने बुधवार को यह जानकारी देते हुए कहा कि बाजार विस्तार और डिजिटल धन हस्तांतरण बढ़ने का उसे लाभ मिला। वालमार्ट समूह की कंपनी फोनपे का राजस्व वित्त वर्ष 2021-22 में 1,646 करोड़ रुपये रहा था।
फोनपे ने एक बयान में कहा, ह्लहमने वित्त वर्ष 2022-23 में 2,914 करोड़ रुपये का एकीकृत राजस्व दर्ज किया, जो वित्त वर्ष 2021-22 के 1,646 करोड़ रुपये की तुलना में 77 प्रतिशत अधिक है। यह वृद्धि मुख्य रूप से डिजिटल भुगतान बाजार, विशेष रूप से धन हस्तांतरण, मोबाइल रिचार्ज और बिल भुगतान के खंडों में प्रभुत्व और बाजार विस्तार पर हमारे ध्यान देने के कारण हुई है।
इस बीच भुगतान कारोबार करने वाली फोनपे इंडिया प्राइवेट लिमिटेड का ईएसओपी लागत से पहले परिचालन घाटा 1,612 करोड़ रुपये से बढक़र 1,755 करोड़ रुपये हो गया है। फोनपे ने कहा कि जनरल अटलांटिक, वॉलमार्ट, रिबिट कैपिटल, टीवीएस कैपिटल फंड्स और टाइगर ग्लोबल जैसे दीर्घकालिक निवेशकों से हाल ही में उसने 7,021 करोड़ रुपये जुटाए हैं। फोनपे ने 12 अरब डॉलर के मूल्यांकन पर यह कोष जुटाया है, जो उसे भारत की सबसे मूल्यवान वित्तीय प्रौद्योगिकी फर्म बनाता है।