मुंबई: अंतरबैंक विदेशी मुद्रा विनिमय बाजार में अमेरिकी मुद्रा के मुकाबले रुपया शुक्रवार को चार पैसे की गिरावट के साथ 82.66 प्रति डॉलर पर बंद हुआ। विदेशों में डॉलर के मजबूत होने और घरेलू शेयर बाजार में कमजोर रुख से रुपये में गिरावट आई। बाजार सूत्रों ने कहा कि जोखिम लेने की धारणा कमजोर होने और विदेशी निवेश की लगातार निकासी से निवेशकों की धारणा प्रभावित हुई। जबकि कच्चे तेल की कीमतों में आई कमी ने गिरावट पर कुछ अंकुश लगाया। अंतरबैंक विदेशी मुद्रा विनिमय बाजार में रुपया 82.52 के स्तर पर मजबूत खुला और कारोबार के अंत में चार पैसे की गिरावट के साथ 82.66 प्रति डॉलर पर बंद हुआ। कारोबार के दौरान रुपया 82.75 प्रति डॉलर के दिन के निचले स्तर पर पहुंच गया था। पिछले कारोबारी सत्र में रुपया 82.62 प्रति डॉलर पर बंद हुआ था। इस बीच, दुनिया की छह प्रमुख मुद्राओं की तुलना में डॉलर की कमजोरी या मजबूती को दर्शाने वाला डॉलर सूचकांक 0.37 प्रतिशत बढक़र 105.42 हो गया।
वैश्विक तेल मानक ब्रेंट क्रूड वायदा 0.74 प्रतिशत बढक़र 79.27 डॉलर प्रति बैरल हो गया। बीएनपी पारिबा बाय शेयरखान में अनुसंधान वेिषक अनुज चौधरी के अनुसार, शुक्रवार को अमेरिकी डॉलर में तेजी और कमजोर घरेलू शेयर बाजारों में गिरावट के कारण रुपये में गिरावट आई। बीएसई का 30 शेयरों वाला सेंसेक्स 452.90 अंक की गिरावट के साथ 59,900.37 अंक पर बंद हुआ। शेयर बाजार के आंकड़ों के अनुसार, विदेशी संस्थागत निवेशक (एफआईआई) पूंजी बाजार में शुद्ध बिकवाल रहे और उन्होंने शुक्रवार को 2,902.46 करोड़ रुपये मूल्य के शेयर बेचे। मोतीलाल ओसवाल फाइनेंशियल र्सिवसेज के विदेशीमुद्रा एवं सर्राफा वेिषक, गौरांग सोमैया ने कहा, ‘‘बृहस्पतिवार को अन्य प्रतिस्पर्धी मुद्राओं की तुलना में डॉलर के मजबूत होने के बाद रुपये में गिरावट आई। अमेरिका में रोजगार आंकड़ा बेहतर रहने से डॉलर में तेजी आई।’’