नई दिल्ली: डिजिटल सामग्री के लिए भारतीय भाषाओं के बढ़ते इस्तेमाल से भारत में इंटरनैट उपयोगकर्ताओं की संख्या इस वर्ष 90 करोड़ को पार कर जाएगी। इंटरनैट एंड मोबाइल एसोसिएशन ऑफ इंडिया (आईएएमएआई) और विपणन डाटा, अंतर्दृष्टि एवं परामर्श कंपनी कैंटर की ‘इंटरनैट इन इंडिया रिपोर्ट-2024’ के अनुसार, भारत में सक्रिय इंटरनैट उपयोगकर्ताओं की संख्या 2024 में 88.6 करोड़ तक पहुंच गई है, जो सालाना आधार पर आठ प्रतिशत की मजबूत वृद्धि है।
रिपोर्ट के अनुसार, ‘डिजिटल सामग्री के लिए भारतीय भाषाओं के बढ़ते इस्तेमाल से भारत में इंटरनैट उपयोगकर्ताओं की संख्या 2025 तक 90 करोड़ को पार कर जाएगी।’
ग्रामीण भारत 48.8 करोड़ उपयोगकर्ताओं के साथ इस वृद्धि में अग्रणी है तथा अब कुल इंटरनैट आबादी में इसकी हिस्सेदारी 55 प्रतिशत है। रिपोर्ट में इंटरनैट के इस्तेमाल को आकार देने में भारतीय भाषाओं की बढ़ती भूमिका पर जोर दिया गया है। इसमें कहा गया, करीब 98 प्रतिशत इंटरनैट उपयोगकर्ताओं ने भारतीय भाषाओं में सामग्री का इस्तेमाल किया। इनमें तमिल, तेलुगू और मलयालम अपनी व्यापक उपलब्धता के साथ सबसे लोकप्रिय भाषाएं बनकर उभरी।
शहरी इंटरनैट उपयोगकर्ताओं में से आधे से अधिक (लगभग 57 प्रतिशत) क्षेत्रीय भाषाओं में सामग्री देखना पसंद करते हैं, जो विभिन्न मंचों पर स्थानीय भाषा की सामग्री की बढ़ती मांग को रेखांकित करता है। भारत में डिजिटल मामले में स्त्री-पुरुष अंतर लगातार कम हो रहा है। देश में कुल इंटरनैट उपयोगकर्ताओं में से 47% महिलाएं हैं, जो अब तक का सर्वाधिक आंकड़ा है। शहरी भारत गैर-पारंपरिक उपकरणों जैसे स्मार्ट टीवी तथा स्मार्ट स्पीकर को अपनाने में अग्रणी है, जो 2023 से 2024 के बीच 54} बढ़़ा है।