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तिब्बत में सांस्कृतिक अवशेषों के विकास को मिला 2 अरब युआन का निवेश

हाल ही में तिब्बत स्वायत्त प्रदेश में आयोजित सांस्कृतिक अवशेष कार्य सम्मेलन से मिली खबर के अनुसार, “13वीं पंचवर्षीय योजना” (2016-2020) के दौरान देश ने तिब्बती सांस्कृतिक अवशेषों के विकास कार्यों के समर्थन के लिए कुल 2 अरब 16 करोड़ 80 लाख युआन का निवेश किया, जो मुख्य तौर पर तिब्बत में सांस्कृतिक अवशेषों की रक्षा, सांस्कृतिक अवशेष की सुरक्षा, पुरातात्विक और ऐतिहासिक अनुसंधान, क्रांतिकारी सांस्कृतिक अवशेषों की रक्षा और उपयोग, संग्रहालयों के उच्च गुणवत्ता वाले विकास, वैज्ञानिक व तकनीकी क्षमताओं में सुधार आदि क्षेत्रों पर ध्यान केंद्रित हुआ है। 

आंकड़ों के अनुसार, साल 2012 के बाद से, तिब्बत ने विभिन्न प्रकार के कुल 4,468 अचल सांस्कृतिक अवशेष स्थलों, सभी स्तरों पर 2,373 सांस्कृतिक अवशेष संरक्षण इकाइयों और 5.1 लाख चल सांस्कृतिक अवशेषों की जांच और पंजीकरण किया है। 195 पुरातात्विक उत्खनन परियोजनाओं को व्यवस्थित रूप से कार्यान्वित किया है, “पोताला महल सांस्कृतिक विरासत संरक्षण प्रबंधन नियम” जैसे स्थानीय सांस्कृतिक अवशेष संरक्षण नियम जारी किए, पोताला महल, नोरबुलिंग्का उद्यान और जोखांग मंदिर जैसी कई राष्ट्रीय प्रमुख सांस्कृतिक अवशेष संरक्षण इकाइयों के लिए सुरक्षा योजनाएँ तैयार कीं, इन कदमों से तिब्बत में सांस्कृतिक अवशेष संरक्षण प्रणाली में और सुधार किया गया है।

बताया गया है कि “14वीं पंचवर्षीय योजना” (2021-2025) के दौरान, तिब्बत में तिब्बत के लिए 35 सांस्कृतिक अवशेष समकक्ष सहायता परियोजनाओं को पूरा किया जाएगा और 2 करोड़ 55 लाख 40 हज़ार युआन की सहायता निधि लागू की जाएगी, जिससे तिब्बत के सांस्कृतिक अवशेष कार्यों के त्वरित विकास में मजबूत प्रोत्साहन मिलेगा।

(साभार- चाइना मीडिया ग्रुप, पेइचिंग)

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