सोल: उत्तर कोरिया के नेता किम जोंग-उन ने देश की सेना को युद्ध के लिए हर स्तर पर तैयार रहने का सख्त निर्देश दिया है। यह बयान उन्होंने हाल ही में हुए विशेष संयुक्त सामरिक अभ्यास का निरीक्षण करने के बाद दिया, जिसमें टैंक यूनिट्स और विशेष बलों की भागीदारी रही।
-सेना की तैयारियों पर संतोष
उत्तर कोरियाई राज्य मीडिया ‘केसीएनए’ के मुताबिक, किम ने इस अभ्यास के दौरान सेना की तैयारियों पर संतोष जताया और कहा कि वर्तमान भू-राजनीतिक हालात में “सर्वाधिक महत्वपूर्ण कार्य” युद्ध के लिए पूर्ण तैयारी है। उन्होंने इस बात पर भी जोर दिया कि उत्तर कोरियाई सशस्त्र बल अब केवल सीमाओं की रक्षा करने वाले बल नहीं, बल्कि वैश्विक साम्राज्यवाद-विरोधी संघर्ष का प्रमुख चेहरा हैं।
किम ने कहा, “हमारी क्रांतिकारी सेना अब केवल सीमाओं पर डटी एक शक्ति नहीं रही, बल्कि यह वैश्विक ताकतों के खिलाफ खड़ी साम्राज्यवाद विरोधी अग्रिम पंक्ति है। हमें हर समय किसी भी परिस्थिति के लिए तैयार रहना होगा।”
-ड्रोन और आधुनिक हथियारों का प्रशिक्षण लिया
इस सैन्य अभ्यास के दौरान उत्तर कोरियाई सैनिकों को ड्रोन और आधुनिक हथियारों के साथ प्रशिक्षण लेते हुए भी देखा गया। राज्य मीडिया द्वारा जारी तस्वीरों में कई सैनिक छद्मवेश में ड्रोन संचालित करते नजर आए। यह गतिविधियां ऐसे समय सामने आई हैं जब दक्षिण कोरिया की खुफिया एजेंसियों ने आशंका जताई है कि उत्तर कोरिया रूस के साथ मिलकर ड्रोन युद्धनीति विकसित कर रहा है।
विशेष रूप से चिंता की बात यह है कि उत्तर कोरिया ने हाल ही में स्वीकार किया है कि उसने रूस में सैनिक तैनात किए हैं, जो यूक्रेनी सेना के खिलाफ मोर्चा ले रहे हैं। किम जोंग-उन ने इसे मास्को के साथ उत्तर कोरिया की “आपसी रक्षा संधि” का हिस्सा बताते हुए देश के संप्रभु अधिकार का प्रयोग करार दिया।विश्लेषकों का मानना है कि यह बयानबाजी उत्तर कोरिया और रूस के बीच बढ़ते सामरिक संबंधों का संकेत है, जो भविष्य में वैश्विक सुरक्षा समीकरणों पर गहरा प्रभाव डाल सकती है।
पश्चिमी देशों की बढ़ी चिंता
दक्षिण कोरिया और पश्चिमी देशों की चिंताएं बढ़ रही हैं कि उत्तर कोरिया अपनी पारंपरिक सैन्य शक्ति को अब तकनीकी और सामरिक रूप से अधिक आक्रामक बना रहा है। इस प्रकार के युद्ध अभ्यास और रूस के साथ गठजोड़ न केवल क्षेत्रीय अस्थिरता बढ़ा सकते हैं, बल्कि एक बड़े अंतरराष्ट्रीय संकट को भी जन्म दे सकते हैं।