Site icon Dainik Savera Times | Hindi News Portal

किताबें पढ़ें और जीवन को बेहतर बनाएं

यूनेस्को ने वर्ष 1995 में हर साल 23 अप्रैल को विश्व पुस्तक और कॉपीराइट दिवस के रूप में निर्धारित किया। इस दिवस स्थापित करने का उद्देश्य पूरी दुनिया में लोग, चाहे बूढ़े हो या युवा, गरीब हो या अमीर, बीमार हो या स्वस्थ, सब किताब पढ़ने का आनंद उठा सकते हैं। सभी लोग साहित्य, संस्कृति, विज्ञान और विचार के गुरु का सम्मान और धन्यवाद देते हैं, जिन्होंने मानव सभ्यता में महान योगदान दिया है। सभी लोग बौद्धिक संपदा अधिकार की रक्षा कर सकते हैं। हर साल विश्व पुस्तक और कॉपीराइट दिवस के दिन दुनिया के 100 से अधिक देश तरह तरह के कार्यक्रमों का आयोजन करते हैं।

पुस्तकें मानव प्रगति की सीढ़ी हैं। किताब पढ़ना लोगों के लिए बहुत महत्वपूर्ण है। प्राचीन और आधुनिक काल में जिन लोगों ने बड़ी उपलब्धियां हासिल की हैं, वे ज्यादातर पढ़ना पसंद करते हैं। चीनी राष्ट्रपति शी चिनफिंग ने ब्रिक्स देशों की मीडिया के साथ साक्षात्कार में कहा था कि किताब पढ़ना उनका सबसे बड़ा शौक है, जो जीवन का तरीका बन गया है। किताब में मिले अनुभव समय के साथ देश के शासन में उनका महान ज्ञान बन गए हैं।

शी चिनफिंग ने कहा कि पढ़ाई मनुष्य के लिए ज्ञान प्राप्त करने, ज्ञान को बढ़ाने और नैतिकता पैदा करने का महत्वपूर्ण रास्ता है। इससे लोग प्रेरित कर सकते हैं, उच्च आदर्श स्थापित कर सकते हैं और न्याय की भावना पैदा कर सकते हैं। नागरिक ज्यादा पुस्तकें पढ़ते हैं, तो चीनी राष्ट्र आत्मा मजबूत होगी। इसलिए किताब पढ़ने का प्रोत्साहन करना चाहिए और विद्वान समाज का निर्माण करना चाहिए।

वर्ष 2014 से “नेशनल रीडिंग” को नौ बार सरकारी कार्य रिपोर्ट में शामिल किया गया। वर्ष 2021 में गहन रूप से नेशनल रीडिंग बढ़ाकर विद्वान समाज का निर्माण करने को 14वीं पंचवर्षीय योजना और वर्ष 2035 दीर्घकालिक लक्ष्य रूपरेखा में शामिल किया गया। वर्ष 2022 में पहले नेशनल रीडिंग सम्मेलन के लिए शी चिनफिंग ने विशेष रूप से बधाई संदेश भेजा। पिछले कुछ वर्षों में चीन सरकार ने नेशनल रीडिंग से जुड़े बुनियादी संस्थापनों में ज्यादा निवेश लगाया। जिससे अधिक से अधिक लोग पढ़ने के लिए प्रेरित हुए। किताब पढ़ने से चीनी राष्ट्र का दीर्घकालीन विकास कायम रहेगा।

(साभार- चाइना मीडिया ग्रुप, पेइचिंग)

Exit mobile version