वाशिंगटन: अमेरिकी राष्ट्रपति के कार्यालय एवं आधिकारिक आवास व्हाइट हाउस ने ‘इस्लामोफोबिया’ (इस्लाम से भय) से निपटने के लिए पहली राष्ट्रीय रणनीति की घोषणा करते हुए 100 से अधिक ऐसे कदमों की सूची जारी की है जिन्हें संघीय अधिकारी मुसलमानों और अरब अमेरिकियों के विरूद्ध नफरत, पक्षपात भेदभाव पर अंकुश लगाने के लिए उठा सकते हैं।
इससे पहले यहूदी-विरोधी भावना से निपटने के लिए राष्ट्रपति जो बाइडन ने मई 2023 में ऐसी ही योजना पेश की थी, क्योंकि अमेरिकी यहूदियों के प्रति नफरत और भेदभाव की आशंकाएं बढ़ रही थीं। अधिकारियों ने ‘इस्लामोफोबिया’ योजना पर महीनों तक काम किया तथा बृहस्पतिवार को इसे जारी किया गया।
बाइडन के राष्ट्रपति पद छोड़ने से पांच सप्ताह पहले यह योजना आयी है- जिसका अर्थ है कि योजना का कार्यान्वयन काफी हद तक नवनिर्वाचित राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प निर्भर करता है। यदि उनका प्रशासन ऐसा करने का फैसला करता है तो यह योजना कार्यान्वित हो पाएगी।
रणनीति की घोषणा करते हुए एक बयान में बाइडन प्रशासन ने लिखा, पिछले साल यह पहल और जरूरी हो गयी क्योंकि अमेरिकी मुसलमानों एवं अरब समुदायों के विरूद्ध खतरे बढ़ गये। उसमें फलस्तीन मूल के छह वर्षीय अमेरिकी मुस्लिम लड़के वादी अल्फायोमी की हत्या का जिक्र किया गया है। अक्टूबर, 2023 में उसकी हत्या कर दी गयी गयी।
योजना में उन कदमों का जिक्र है जिन्हें कार्यकारी शाखा उठा सकती हैं। रणनीति की चार बुनियादी प्राथमिकताएं हैं: मुसलमानों और अरबों के विरुद्ध नफरत के बारे में जागरूकता बढ़ाना तथा इन समुदायों की विरासत को व्यापक रूप से मान्यता देना; उनकी सुरक्षा और संरक्षा में व्यापक सुधार करना; मुसलमानों और अरबों के विरुद्ध भेदभाव को रोकने के लिए कार्य करके उनके धाíमक रीति-रिवाजों को उचित रूप से समायोजित करना; तथा घृणा का मुकाबला करने के लिए समुदायों के बीच एकजुटता को प्रोत्साहित करना।
इनमें से कई लक्षय़ उन लक्षय़ों के समान हैं जिन्हें बाइडन प्रशासन ने यहूदी-विरोधी भावना के असर को कम करने के लिए अपनी योजना में रखा था। इसमें विशेष रूप से सुरक्षा और संरक्षा में सुधार लाने और समुदायों के बीच एकजुटता बनाने पर जोर देना शामिल है।