पंजाब हरियाणा की सीमा पर शंभू और खनौरी में बैठे किसान आपस में डिवाइड हो गए हैं। वरिष्ठ किसान नेता रूल्दू सिंह मानसा ने शंभू और खनौरी बार्डर पर चल रहे किसान आंदोलन को गलत ठहराया है। रूल्दू सिंह मानसा ने कहा कि यह आंदोलन सिर्फ दो लोगों जगजीत सिंब डल्लेवाल और सरवन सिंह पंधेर का है।
उन्होंने कहा कि दोनों नेताओं ने आंदोलन शुरू करने से पहले किसी भी उनकी सहमति नहीं ली और सीधे आंदोलन शुरू कर दिया। किसान नेता ने जगजीत सिंह डल्लेवाल पर और भी गंभीर आरोप लगाए कि उन्होंने किसान आंदोलन के बाद किसान संगठनों को आपस में बांटने का प्रयास किया। उन्होंने कहा कि जबकि मजदूर किसान यूनियन पंजाब के सरवन सिंह पंधेर तो पहले से ही अलग चल रहे थे।
किसान नेता रूल्दू सिंह मानसा ने जगजीत सिंह डल्लेवाल से कहा कि वह अपने मरणव्रत वापस लें और अपने जीवन से समझौता न करें। उन्होंने कहा कि एक किसान को संगठन का नेता बनने के लिए बरसों लग जाते हैं।
इसी बीच दोआबा किसान यूनियन के प्रधान मनजीत सिंह राय ने कहा कि रूल्दू सिंह मानसा को एेसे वक्त में एेसा बयान नहीं देना चाहिए था। उन्होंने कहा कि रूल्दू सिंह मानसा वरिष्ठ नेता हैं और उनके लिए सम्मानीय हैं लेकिन उन्हें बयानबाजी से परहेज करना चाहिए।
मनजीत सिंह राय ने कहा कि रूल्दू सिंह मानसा के आरोप बिल्कुल निराधार हैं कि उन्हें आंदोलन के बारे में नहीं बताया गया और उनके साथ बीतचीत नहीं की गई थी। उन्होंने कहा कि सरवन सिंह पंधेर और सुरजीत सिंह फुल्ल सभी संगठनो के पास गए थे और सभी के साथ बैठकें कर उनकी सहमति ली थी।
उन्होंने कहा कि जहां तक डल्लेवाल के मरणव्रत का सवाल है तो उन्होंने अपना जीवन किसान आंदोलन में किसानों के नाम पर लगा दिया है। उन्होंने कहा कि रुल्दू सिंह मानसा को उनकी हौसला अफजाई करनी चाहिए न कि उनका मनोबल गिराना चाहिए।