नेशनल डेस्क: राष्ट्रीय लोक जनशक्ति पार्टी (रालोजपा) के राष्ट्रीय अध्यक्ष और पूर्व केंद्रीय मंत्री, पशुपति कुमार पारस ने आज (सोमवार) को एनडीए से अपने गठबंधन को खत्म करने का ऐलान किया। उन्होंने कहा कि उनकी पार्टी का अब एनडीए के साथ कोई संबंध नहीं रहेगा। यह ऐलान पटना में आयोजित रालोजपा के बापू सभागार कार्यक्रम में किया गया।
एनडीए से गठबंधन तोड़ा
पशुपति पारस ने कहा, “आज से हम एनडीए के साथ नहीं हैं, एनडीए से हमारा कोई संबंध नहीं है।” उन्होंने यह भी बताया कि उनकी पार्टी ने 2014 से एनडीए के साथ मिलकर काम किया था और इस दौरान वे वफादार सहयोगी रहे। लेकिन लोकसभा चुनाव के दौरान उनकी पार्टी के साथ, विशेष रूप से दलित पार्टी होने के कारण, कई बार अन्याय हुआ। पारस ने कहा कि अगर महागठबंधन उन्हें उचित सम्मान देता है, तो वे भविष्य की राजनीति पर विचार करेंगे।
#WATCH | Patna, Bihar: On his decision to quit NDA, Rashtriya Lok Janshakti Party (RLJP) chief Pashupati Kumar Paras says, “I was with the NDA since 2014 till date. We were loyal allies of the NDA. You must have seen that when Lok Sabha elections were held, people of NDA did… pic.twitter.com/UBW8mlBGxy
— ANI (@ANI) April 14, 2025
स्व. रामविलास पासवान को भारत रत्न देने की मांग
पशुपति पारस ने अपनी पार्टी के संस्थापक और दिवंगत नेता स्व. रामविलास पासवान को भारत रत्न देने की मांग की। इसके साथ ही उन्होंने जानकारी दी कि उनकी पार्टी 243 सीटों पर सदस्यता अभियान शुरू करने जा रही है।
केंद्र और बिहार सरकार पर हमला
पशुपति पारस ने केंद्र और बिहार सरकार दोनों पर तीखा हमला किया। उन्होंने इन दोनों सरकारों को भ्रष्ट और दलित विरोधी बताया। पारस ने आरोप लगाया कि केंद्र सरकार ने संसद में बाबासाहेब अंबेडकर का अपमान किया है।
चुनाव में स्वतंत्र रूप से तैयारी
पशुपति पारस ने यह भी घोषणा की कि उनकी पार्टी अब 243 सीटों पर स्वतंत्र रूप से चुनावी तैयारी करेगी। पार्टी कार्यकर्ता गांव-गांव जाकर संगठन को मजबूत करेंगे।
गठबंधन पर खुला रुख
पारस ने यह स्पष्ट किया कि वे चुनाव के समय उस पार्टी या गठबंधन के साथ जाएंगे जो उन्हें उचित सम्मान देगा। यह निर्णय वे अकेले नहीं लेंगे, बल्कि पार्टी के सभी नेता मिलकर तय करेंगे कि किसके साथ गठबंधन करना है। फिलहाल, उनकी पार्टी सभी सीटों पर स्वतंत्र रूप से तैयारी करेगी।