ईडी ने राजस्थान पेपर लीक के आरोपियों की तीन करोड़ रुपये से अधिक की संपत्ति कुर्क की

जयपुर: राजस्थान लोक सेवा आयोग (आरपीएससी) ग्रेड टू शिक्षक भर्ती परीक्षा मनी लॉन्ड्रिंग मामले की जांच कर रहे प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) के जोनल कार्यालय ने कुछ आरोपियों की 3.11 करोड़ रुपये की संपत्ति को जब्त कर लिया है। सोमवार को जिन आरोपियों की संपत्ति कुर्क की गई उनमें बाबूलाल कटारा, सुरेश कुमार बिश्नोई, भूपेन्द्र सारण.

जयपुर: राजस्थान लोक सेवा आयोग (आरपीएससी) ग्रेड टू शिक्षक भर्ती परीक्षा मनी लॉन्ड्रिंग मामले की जांच कर रहे प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) के जोनल कार्यालय ने कुछ आरोपियों की 3.11 करोड़ रुपये की संपत्ति को जब्त कर लिया है। सोमवार को जिन आरोपियों की संपत्ति कुर्क की गई उनमें बाबूलाल कटारा, सुरेश कुमार बिश्नोई, भूपेन्द्र सारण और शेर सिंह मीना समेत अन्य शामिल हैं।

संपत्तियों को प्रिवेंशन आफ मनी लॉन्चिंग एक्ट (पीएमएलए) 2002 के तहत जब्त किया गया। मामले में राजस्थान पुलिस द्वारा दर्ज की गई एफआईआर के बाद ईडी ने अपनी जांच शुरू की। जांच एजेंसी के एक अधिकारी ने कहा, ‘हमारी जांच से पता चला कि आरोपी ने पेपर लीक किया था।‘ ईडी ने करोड़ों रुपये के लेनदेन और उन्हें आगे बेचने को आधार मानते हुए पीएमएलए के तहत मामला दर्ज किया था।

जांच में पता चला कि कटारा ने सेकंड ग्रेड शिक्षक भर्ती परीक्षा 2022 का सामान्य ज्ञान का पेपर लीक कर मीना को दे दिया था। मीना ने लीक हुआ पेपर आगे सारण और सुरेश ढाका को बेच दिया। फिर दोनों ने पेपर देने के लिए प्रत्येक उम्मीदवार से 8 से 10 लाख रुपये लिए। लीक हुआ पेपर उदयपुर में 150 और जयपुर में 30 अभ्यर्थयिों को उपलब्ध कराया गया था।

पेपर लीक में करीब 18 करोड़ रुपये के लेनदेन की बात सामने आई है। शिक्षक भर्ती परीक्षा में पेपर लीक के आरोपी कथित तौर पर अन्य भर्ती परीक्षाओं में पेपर लीक रैकेट का हिस्सा रहे हैं। वे अन्य भर्ती परीक्षाओं में डमी उम्मीदवारों का उपयोग करके धोखाधड़ी करने में भी शामिल रहे हैं। वहीं, आरोपियों की कई और संपत्तियां जांच एजेंसी के रडार पर हैं। सूत्रों ने बताया कि जांच पूरी होने के बाद कुछ अन्य लोगों की संपत्ति भी कुर्क की जा सकती है। आरपीएससी ने 21, 22 और 24 दिसंबर, 2022 को राज्य भर के केंद्रों पर वरिष्ठ शिक्षक भर्ती परीक्षा आयोजित की थी।

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