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CM खट्टर ने ग्रुप डी खिलाड़ी कोटे के उम्मीदवारों को नौकरी देने का किया फैसला, मगर 60 दिन बीत गए फैसला लागू नहीं हुआ…

चंडीगढ़ : हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने ग्रुप डी 2019 की भर्ती में खेल कोटे के रिक्त पदों पर योग्य उम्मीदवारों को नौकरी देने का फैसला किया था। ये उम्मीदवार पंचकूला में धरने पर थे। तब मुख्यमंत्री के ओएसडी जवाहर यादव ने उन्हें आश्वासन देकर जूस पिलाकर अनशन समाप्त कराया था। उसके दो दिन.

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चंडीगढ़ : हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने ग्रुप डी 2019 की भर्ती में खेल कोटे के रिक्त पदों पर योग्य उम्मीदवारों को नौकरी देने का फैसला किया था। ये उम्मीदवार पंचकूला में धरने पर थे। तब मुख्यमंत्री के ओएसडी जवाहर यादव ने उन्हें आश्वासन देकर जूस पिलाकर अनशन समाप्त कराया था। उसके दो दिन बाद मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने अधिकारियों की बैठक बुलाकर फैसला कर दिया था कि योग्य उम्मीदवारों को रिक्त पदों पर ज्वाइन कराया जाए।

इस बैठक में मुख्यमंत्री के मुख्य प्रधान सचिव राजेश खुल्लर भी थे। इस फैसले को हुए लगभग 60 दिन हो गए हैं मगर खिलाड़ियों को अभी तक ज्वाइनिंग नहीं मिल पाई। इसलिए खिलाड़ियों ने फिर धरना शुरू करने का फैसला किया है। उन्होंने कहा कि अब ज्वाइनिंग के बाद ही उठेंगे।खिलाड़ी उम्मीदवारों की जुबानी इन रिक्त पदों के योग्य खिलाड़ी उम्मीदवारों ने दैनिक सवेरा को लिखित में भेजा, ‘ ज्वाइनिंग नहीं होने पर 02 नवंबर को खिलाड़ियों का प्रतिनिधिमंडल खेल विभाग के निदेशक से मिलने गया। मगर निदेशक से नहीं मिल सके। फिर विभाग की डिप्टी डायरेक्टर कविता रानी से भेंट हुई। कविता ने हमें कहा कि हम वेरिफिकेशन कर रहें अच्छे से। हमने कहा कि हमारा काम अच्छे से नहीं हो रहा है।

हम अवरऐज हो जाएंगे और अगली खेल कोटा डी ग्रुप भर्ती में भी हम बाहर हो जाएंगे क्यों उसमें 40 प्रतिशत नंबर लेने जरूरी हैं। अगर यह जांच कमेटी ऐसे ही लेट करेगी तो हमारा भविष्य अंधकारमय है। इस पर कविता ने कोई जवाब नहीं दिया और न ही कोई समय बताया। हम गरीब परिवारों के नेशनलिस्ट खिलाड़ी हैं। अगर उस समय अयोग्य उम्मीदवारों का चयन नहीं होता तो हमारा चयन तय था। अब हमें मजबूरन धरना और आमरण अनशन शुरू करना पड़ेगा।’

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