Kullu : ग्रामीणों ने फोरलेन अधिग्रहण को लेकर स्थिति स्पष्ट करने की उठाई मांग

कुल्लू (सृष्टि) : कुल्लू के बजौरा से लेकर मनाली तक फोरलेन का निर्माण कार्य पूरा हो चुका है, लेकिन हाथीथान के ग्रामीण अभी भी पशोपेश में है कि उनकी भूमि व मकान का एनएचएआई के द्वारा अधिग्रहण किया गया है या नहीं। क्योंकि एनएचएआई के द्वारा एक साल पहले ग्रामीणों को मकान खाली करने के.

कुल्लू (सृष्टि) : कुल्लू के बजौरा से लेकर मनाली तक फोरलेन का निर्माण कार्य पूरा हो चुका है, लेकिन हाथीथान के ग्रामीण अभी भी पशोपेश में है कि उनकी भूमि व मकान का एनएचएआई के द्वारा अधिग्रहण किया गया है या नहीं। क्योंकि एनएचएआई के द्वारा एक साल पहले ग्रामीणों को मकान खाली करने के बारे में भी नोटिस दे दिया गए थे और यह कहा गया था कि वह अभी यहां पर किसी भी प्रकार का निर्माण न करें, लेकिन 1 साल बीतने के बाद ना तो उन्हें मुआवजा दिया गया है और न ही उन्हें दोबारा कोई जवाब मिल पाया है।

ढालपुर में पत्रकारों को संबोधित करते हुए स्थानीय निवासी करण बौद्ध ने कहा कि यहां पर आज भी 50 से अधिक परिवार ऐसे हैं जो अभी तक संशय में है कि आखिर उनके मकान या भूमि को एनएचआई के द्वारा अधिकृत किया जाएगा या नहीं। करण का कहना है कि 1 साल पहले उन्हें नोटिस मिले थे तो उन्होंने अपने रिश्तेदारों से कर्जा लेकर जमीन खरीदी थी। क्योंकि नोटिस मिलने के बाद के द्वारा उनके मकान का अधिग्रहण किया जाना था और उन्हें वह जगह खाली करनी थी। लेकिन 1 साल बीतने के बाद भी एनएचआई के द्वारा ना तो उनके मकान और भूमि का अधिग्रहण किया गया और ना ही उन्हें किसी प्रकार का मुआवजा जारी किया गया है।

हालांकि इस बारे एक आरटीआई भी डाली गई थी और उस के माध्यम से भी जवाब मांगा गया था। लेकिन उसका भी एनएचआई के द्वारा कोई जवाब नहीं दिया गया। उनका कहना है कि उन्होंने अपने रिश्तेदारों से जो कर्ज लिया था। वो अब लौटाने के काबिल नहीं रह गए हैं। अब ग्रामीणों ने एनएचआई प्रबंधन से आग्रह किया है कि अगर उनकी भूमि या मकान का अधिग्रहण एनएचआई के द्वारा किया जाना है तो वह जल्द उसका मुआवजा भी दे। ताकि वह कर्ज का पैसा लौटा सके। वही, अगर उनकी भूमि या मकान का एनएचआई के द्वारा अधिग्रहण नहीं किया जाना है तो उस बारे में स्थिति स्पष्ट करें। ताकि सभी ग्रामीण यहां पर अपने-अपने निर्माण कार्यों को पूरा कर सकें।

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