किसानों ने धरनास्थल के टैंटों के बीच लगाए सोलर पैनल, टैंटों व ट्रालियों में लगे एसी और कूलर

शंभू बार्डर पर किसान भीषण गर्मी होने के बावजूद भी डटे हुए हैं। वहीं बार्डर पर बिजली की समस्या का भी समाधान किसानों ने निकाल लिया है।

राजपुरा: शंभू बार्डर पर किसान भीषण गर्मी होने के बावजूद भी डटे हुए हैं। वहीं बार्डर पर बिजली की समस्या का भी समाधान किसानों ने निकाल लिया है। काफी दिनों तक बिजली की कमी के बाद भी किसान टस से मस नहीं हुए और उन्होंने इसका तोड़ निकालते हुए धरनास्थल पर बिजली की व्यवस्था करने के लिए सोलर पैनल और सोलर इन्वर्टर लगाने शुरू कर दिए हैं। किसानों ने मोबाइल फोन चार्ज करने लिए कई जगहों पर चाजिर्ंग प्वाइंट भी बनाए हैं। किसानों ने बिजली की सुविधा के लिए सौर ऊर्जा का इस्तेमाल किया है।

टैंट सिटी के बीच सोलर प्लेट्स लगाई गई हैं, जो कई घंटों के लिए बिजली पैदा कर सकती है। इतना ही नहीं टैंटों व ट्रालियों में एसी, कूलर व डिश लगाकर टैलीविजन से देश-विदेश की खबरों का आनंद ले रहे हैं, प्रदर्शन में शामिल किसान कहते हैं कि लोगों को लगता है कि किसानों का मतलब हल जोतना है पर आज का किसान पढ़ा-लिखा और आधुनिक है, वो खेतों में हल चलाना जानता है तो उन्हें आविष्कार करना भी आता है, वो आधुनिकता से लैस है, अब किसान सूचनाएं पाने के लिए फोन कॉल के साथ टीवी और डिश लगाने लगे हैं। कई ट्रैक्टर-ट्रॉली में डिश टीवी लगे हैं।

किसान हरजीत सिंह ने कहा कि छोटा टीवी खरीदकर लाए हैं, जिसे डिश के साथ चलाया गया है क्योंकि सरकार का कोई भरोसा नहीं कब इंटरनेट बंद कर दें।
क्या कहते हैं भारतीय किसान मजदूर युनियन के राष्ट्रीय अध्यक्ष : भाकियू के राष्ट्रीय अध्यक्ष मनजीत सिंह घुमाना का कहना है कि वैसे तो धरना स्थल पर सरकारी ट्रांसफार्मर लगा हुआ है लेकिन उससे बिजली की सही आपूर्ति नहीं हो पाती, जिसके चलते टैंट सिटी के बीच सोलर पैनल लगवाए जा रहे हैं क्योंकि भीषण गर्मी के मदेनजर बजुर्गो, महिलाओं व बच्चों के लिए जो एसी व कूलर लगवाए गए हैं उससे किसी किस्म की रूकावट न आए उन्होंने कहाकि खेतों में रहना वाला किसान तो हर स्थिती का सामना कर लेता है लेकिन बजुर्गो की सेहत को देखते हुए कुछ एसी हट तैयार करवाए हैं ताकि उन्हें कोई परेशानी न हो।

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