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12 से अधिक FIR दर्ज, लिख चुका है किताब…जानिए कौन है नारायण सिंह जिसने सुखबीर सिंह पर किया हमला

यह हमला नारायण सिंह चौरा नाम के एक शख्स ने किया। हमले के दौरान नारायण सिंह ने फायरिंग की। हालांकि, इस हमले से किसी को कोई भी नुकसान नहीं हुआ है।

Narain Singh Chaura Punjab : पंजाब के पूर्व डिप्टी सीएम सुखबीर सिंह बादल पर उस वक्त हमला हुआ जब वह अमृतसर के गोल्डन टेंपल में धार्मिक सेवा (पहरेदारी) कर रहे थे। यह हमला नारायण सिंह चौरा नाम के एक शख्स ने किया। हमले के दौरान नारायण सिंह ने फायरिंग की। हालांकि, इस हमले से किसी को कोई भी नुकसान नहीं हुआ है। वहीं वहां मौजूद लोगों ने सतर्कता दिखाते हुए हमलावर नारायण सिंह को पकड़ कर उसकी पिस्तौल छीन ली। जिसके बाद उसे पुलिस के हवाले कर दिया गया । आइए जानते है कि कौन हैं नारायण सिंह जिसने सुखबीर सिंह पर हमला का प्रयास किया…

Narain Singh Chaura Punjab
Narain Singh Chaura Punjab

कौन है नारायण सिंह चौरा-

दरअसल, नारायण सिंह चौरा एक खालिस्तानी आतंकवादी है जो बब्बर खालसा इंटरनेशनल (BKI) से जुड़ा हुआ है। वह पहले पाकिस्तान में रहकर आतंकवादी गतिविधियों में शामिल था और पंजाब में विस्फोटकों और हथियारों की तस्करी करता था। इस व्यक्ति पर कई आतंकवादी हमलों का आरोप है और वह भारतीय कानून के तहत कई मामलों में वांटेड था। 2013 में उसे गिरफ्तार किया गया था, और वह 2018 में जमानत पर रिहा हुआ था।

सुखबीर सिंह बादल पर हमले के बाद की प्रतिक्रिया-

वहीं इस हमले के बाद शिरोमणि अकाली दल ने इस घटना की न्यायिक जांच की मांग की है। अकाली दल का कहना है कि हमलावर, नारायण सिंह चौरा, का संबंध कांग्रेस सांसद सुखजिंदर सिंह रंधावा से है। इसके अलावा, अकाली दल ने यह आरोप भी लगाया कि हमलावर का भाई नरेंद्र सिंह चौरा डेरा बाबा नानक में एक प्रमुख पदाधिकारी है।

नारायण सिंह चौरा का आतंकवादी इतिहास-

जानकारी के अनुसार नारायण सिंह चौरा का खालिस्तानी आतंकवाद से गहरा संबंध है। वह 1984 के बाद से पाकिस्तान में था और खालिस्तानी आतंकवाद की शुरुआत में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई थी। उसने खालिस्तान पर एक किताब भी लिखी थी जिसका नाम था “कॉन्सिपिरेसी अगेन्स्ट खालिस्तान”, जो उसके विचारों को दर्शाता है। इसके अलावा, वह पंजाब की जेल में भी बंद रह चुका है और आतंकवादी मामलों में नामी आतंकवादियों के साथ संबंधों का आरोप झेल चुका है।

SGPC की प्रतिक्रिया-

सिख गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी (SGPC) के अध्यक्ष हरजिंदर सिंह धामी ने इस हमले पर चिंता जताई और कहा कि हमलावर को पकड़ा गया और पुलिस को सौंप दिया गया। उन्होंने यह भी कहा कि गुरु राम दास ने सुखबीर सिंह बादल की जान बचाई और अब वे सुरक्षा व्यवस्था की समीक्षा कर रहे हैं।

सुखबीर सिंह बादल पर आरोप-

सुखबीर सिंह बादल पर कई आरोप हैं, जिनमें प्रमुख है ईशनिंदा के मामले में डेरा सच्चा सौदा प्रमुख राम रहीम को माफी दिलवाने में मदद करना। इसके अलावा, उन्होंने श्री गुरुग्रंथ साहिब की बेअदबी के मामले में कोई कार्रवाई नहीं की और राजनीतिक विज्ञापनों के लिए संगत के पैसे का दुरुपयोग किया। इन आरोपों के कारण ही अकाल तख्त ने उन्हें धार्मिक सजा दी थी।

धार्मिक सजा-

आपको बता दें कि श्री अकाल तख्त साहिब ने सुखबीर सिंह बादल और उनकी पार्टी के नेताओं को 2007 से 2017 के बीच किए गए धार्मिक अपराधों के लिए सजा दी थी। इस सजा के तहत, सुखबीर को धार्मिक सेवा करने का आदेश दिया गया था। उन्हें गुरुद्वारे में बर्तन धोने, पहरेदारी करने और सार्वजनिक शौचालयों की सफाई करने की जिम्मेदारी दी गई। यह सजा उन गलत कामों की भरपाई करने के लिए थी जो उनकी सरकार के दौरान हुए थे।

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