चंडीगढ़ः किसान नेता सरवन सिंह पंढेर ने पंजाब-हरियाणा के खनौरी बॉर्डर पर एक प्रदर्शनकारी किसान की मौत के लिए जिम्मेदार लोगों के खिलाफ बृहस्पतिवार को हत्या का मामला दर्ज करने की मांग की हैं। पंढेर ने कहा कि पंजाब सरकार को राज्य के क्षेत्र में प्रवेश करने के बाद किसानों की 25-30 ट्रैक्टर-ट्रॉलियों को कथित तौर पर नुकसान पहुंचाने के लिए हरियाणा अर्धसैनिक बल के जवानों के खिलाफ कार्रवाई भी करनी चाहिए। खनौरी बॉर्डर पर हुई झड़प में एक आंदोलनकारी की मौत और लगभग 12 पुलिसर्किमयों के घायल होने के बाद किसान नेताओं ने बुधवार को दो दिन के लिए ‘दिल्ली मार्च’ रोक दिया था।
यह घटना तब हुई जब कुछ प्रदर्शनकारी अवरोधकों की ओर बढ़ने की कोशिश कर रहे थे। बठिंडा जिले के रहने वाले शुभकरण सिंह (21) की संगरूर-जींद सीमा पर खनौरी में मौत हो गई। पंढेर ने पटियाला में संवाददाताओं से कहा कि हरियाणा के सुरक्षार्किमयों पर पंजाब क्षेत्र में प्रवेश करने और खनौरी बॉर्डर पर किसानों के खिलाफ बल प्रयोग करने के आरोप में मामला दर्ज किया जाना चाहिए। उन्होंने कहा, कि ‘हम चाहते हैं कि पंजाब सरकार इस घटना के सिलसिले में भारतीय दंड संहिता की धारा 302 (हत्या) के तहत मामला दर्ज करे।’’
किसान नेता जगजीत सिंह डल्लेवाल ने मांग की कि पंजाब सरकार शुभकरण को शहीद का दर्जा दे। डल्लेवाल ने यह भी मांग की कि पंजाब सरकार हरियाणा के सुरक्षार्किमयों द्वारा पंजाब के क्षेत्र में 25-30 ट्रैक्टर-ट्रॉलियों को कथित तौर पर नुकसान पहुंचाने का संज्ञान ले। किसान नेताओं ने खनौरी बॉर्डर पर किसान की मौत के खिलाफ अपना विरोध दर्ज कराने के लिए घरों और वाहनों पर काले झंडे लगाने का भी आह्वान किया।
संयुक्त किसान मोर्चा (गैर-राजनीतिक) और किसान मजदूर मोर्चा (केएमएम) फसलों के न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) पर कानूनी गारंटी और कृषि ऋण माफी सहित अपनी विभिन्न मांगों को लेकर भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) नीत केंद्र सरकार पर दबाव बनाने के लिए दिल्ली चलो आंदोलन का नेतृत्व कर रहे हैं।