राज्यों में अधिकारियों की सोच अब भी लाइसेंस राज की तरह? मारुति चेयरमैन

नयी दिल्ली: देश की अग्रणी वाहन विनिर्माता मारुति सुजुकी इंडिया के चेयरमैन आर सी भार्गव ने मंगलवार को कहा कि केंद्र सरकार की तरफ से सुधार किए जाने के बावजूद राज्यों में अधिकारियों के अब भी लाइसेंस एवं नियंत्रण राज के दिनों में कार्य करने से विनिर्माण क्षेत्र की वृद्धि दर बढ़ नहीं पा रही.

नयी दिल्ली: देश की अग्रणी वाहन विनिर्माता मारुति सुजुकी इंडिया के चेयरमैन आर सी भार्गव ने मंगलवार को कहा कि केंद्र सरकार की तरफ से सुधार किए जाने के बावजूद राज्यों में अधिकारियों के अब भी लाइसेंस एवं नियंत्रण राज के दिनों में कार्य करने से विनिर्माण क्षेत्र की वृद्धि दर बढ़ नहीं पा रही है। भार्गव ने यहां एक कार्यक्रम में कहा कि पिछले नौ साल में केंद्र सरकार कारोबारी परिवेश में सुधार एवं बेहतरी के प्रयास करती रही है। इसकी वजह से कारोबारी सुगमता के मामले में देश की रैंिकग में व्यापक सुधार देखने को मिला है।

उन्होंने कहा, यह सारे प्रयास भारत में कारोबार को आसान बनाने और विनिर्माण में अधिक प्रतिस्पद्र्धी बनने के लिए किए गए हैं। दुर्भाग्य से इसके परिणाम अभी नजर नहीं आते हैं। इसके साथ ही उन्होंने कहा कि विनिर्माताओं एवं उद्यमियों के बड़े तबके का नाता राज्य सरकार के अधिकारियों से अधिक रहता है। लेकिन राज्यों की सरकारों और इसके अधिकारियों के काम करने के तरीके में केंद्र सरकार की तरह बदलाव नहीं आया है।

मारुति सुजुकी के प्रमुख ने कहा, फैसलों में काफी विलंब देखने को मिलता है। राज्यों में अधिकतर लोग समय को अधिक अहमियत नहीं देते हैं। प्रशासन का रवैया काफी कुछ वैसा ही है जैसा लाइसेंस एवं नियंत्रण के दिनों में हुआ करता था। इसके साथ ही उन्होंने कहा कि उद्यमी भी काफी हद तक लाइसेंस राज के दौरान विकसित मानसिकता को लेकर चल रहे हैं। उस समय निजी क्षेत्र लाइसेंस की शर्तों से बंधा होने की वजह से बढ़ पाने या नवाचार कर पाने की स्थिति में नहीं था। उन्होंने मारुति सुजुकी का उदाहरण देते हुए कहा कि यह कंपनी उस समय आगे बढऩे में सफल रही जब उसके लिए हालात एकदम प्रतिकूल थे।

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