बहुत आकर्षक है खुनमिंग में मौजूद प्राचीन स्वर्ण मंदिर

चीन के युन्नान प्रांत का खुनमिंग शहर अपनी प्राकृतिक सुंदरता के लिए जाना जाता है। यहां वैसे तो घूमने-फिरने की कई जगहें हैं। लेकिन यहां इस लेख में हम बात करेंगे शहर से 7 किमी. दूर और मिंगफंग पहाड़ की तहलटी पर स्थित चिनत्यान यानी स्वर्ण मंदिर की। आज सुबह हमें इस पहाड़ मंदिर व पहाड़.

चीन के युन्नान प्रांत का खुनमिंग शहर अपनी प्राकृतिक सुंदरता के लिए जाना जाता है। यहां वैसे तो घूमने-फिरने की कई जगहें हैं। लेकिन यहां इस लेख में हम बात करेंगे शहर से 7 किमी. दूर और मिंगफंग पहाड़ की तहलटी पर स्थित चिनत्यान यानी स्वर्ण मंदिर की। आज सुबह हमें इस पहाड़ मंदिर व पहाड़ पर चढ़ने का अवसर मिला। मौसम बेहद सुहावना था और हल्की धूप खिल रही थी। ऐसे में वहां जाने पर उत्साह और बढ़ गया। वैसे यह प्राचीन मंदिर चीन में मौजूद महत्वपूर्ण सांस्कृतिक अवशेष संरक्षण इकाइयों में से एक है। यहां पहुंचने पर महसूस हुआ कि चीन ने अपनी प्राचीन धरोहरों को बहुत अच्छे ढंग से संरक्षित किया है। यह युन्नान प्रांत में एक प्रसिद्ध मंदिर के रूप में अपनी अलग पहचान रखता है। बताया जाता है कि चमकदार और सुनहरे स्वरूप के कारण इसे गोल्डन मंदिर कहा जाता है। हालांकि मंदिर सैकड़ों वर्षों से हवा और बारिश के संपर्क में है, फिर भी अच्छी स्थिति में बना हुआ है। बताया जाता है कि यह चीन में सबसे बड़ा और अच्छी तरह से संरक्षित मौजूदा तांबे का मंदिर है, जो शोधकर्ताओं को युन्नान प्रांत में प्राचीन धातु विज्ञान और वास्तुकला का अध्ययन करने के लिए महत्वपूर्ण जानकारी प्रदान करता है।

स्वर्ण मंदिर के स्वरूप की बात करें तो यह पारंपरिक ताओ शैली में बनी संरचना है। प्राचीन चीनी वास्तुकला के मुताबिक इसमें चार तरफ से छतें हैं। इसकी ऊंचाई लगभग 6.7 मीटर, चौड़ाई 6.2 मीटर और लंबाई 6.2 मीटर है। पूरा मंदिर, जिसमें खंभे,बीम, दरवाजे, खिड़कियां, टाइलें, वेदी की मेज, क्षैतिज उत्कीर्ण बोर्ड, महान चनवू देवता की मूर्ति आदि तांबे से बने हैं। स्वर्ण मंदिर के दरवाजे पर एक क्षैतिज उत्कीर्ण बोर्ड है जिस पर चीनी  भाषा में लिखा गया कि पूरे साल मौसम हमेशा वसंत जैसा रहता है। मंदिर के अंदर चनवु की बैठी हुई मूर्ति है। जो लोगों को अपनी ओर आकर्षित करती है।  

मंदिर परिसर में विभिन्न मूर्तियां रखी गयी हैं, जिनमें बैल और बाघ की मूर्ति, भैंस की मूर्तियां शामिल है। इसके साथ ही यहां बेल (घंटा) टावर भी है, बड़े आकार के इस घंटे को बजाकर लोग खुशहाल जीवन और दीर्घायु होने की कामना करते हैं। साथ ही मंदिर परिसर में पट्टिकाओं को लटकाया गया है। लोग छोटी-छोटी पट्टिकाओं में अपने मन की इच्छा या नाम आदि लिखते हैं, जिन्हें वहां टांग दिया जाता है। 

इस मंदिर के इतिहास की बात करें तो चीनी लोक कथाओं के अनुसार, मिंग राजवंश के युन्नान प्रांत के प्रांतीय गवर्नर छन योंगबिन को बताया गया था कि खुनमिंग में मिंगफंग पहाड़ एक अच्छी फंगशुई वाली जगह है। सौभाग्य की उम्मीद में, छन ने स्वर्ण मंदिर का निर्माण करवाया। यह मंदिर हुबेई प्रांत में स्थित वुतांग पर्वत पर थाइहकोंग स्वर्ण मंदिर की तर्ज पर निर्मित किया गया है। ताकि यहां ताओ धर्म के चनवु नामक देवता की पूजा-अर्चना की जा सके। अगर आपको भी मौका मिले तो इस स्वर्ण मंदिर और खुनमिंग शहर घूमने जरूर आएं।

 (अनिल पांडेय, चाइना मीडिया ग्रुप, बीजिंग)

- विज्ञापन -

Latest News