Google के सर्च बिजनेस के लिए बड़ा खतरा बन रहा AI-powered Microsoft Bing

नई दिल्ली: माइक्रोसॉफ्ट बिंग सर्च इंजन और स्टार्टअप यू डॉट कॉम के नए एआई फीचर्स ने गूगल के सर्च बिजनेस को खतरे में डाल दिया है। यूजर्स को सर्च करने के लिए अन्य विकल्प मिल गए हैं। यूकॉम के सीईओ रिचर्ड सॉचर के अनुसार, गूगल सर्च विकल्प अब यूजर्स को ज्यादा सर्च एक्सपीरियंस दे रहे.

नई दिल्ली: माइक्रोसॉफ्ट बिंग सर्च इंजन और स्टार्टअप यू डॉट कॉम के नए एआई फीचर्स ने गूगल के सर्च बिजनेस को खतरे में डाल दिया है। यूजर्स को सर्च करने के लिए अन्य विकल्प मिल गए हैं। यूकॉम के सीईओ रिचर्ड सॉचर के अनुसार, गूगल सर्च विकल्प अब यूजर्स को ज्यादा सर्च एक्सपीरियंस दे रहे हैं। उन्होंने आगे कहा, “एसईओ द्वारा संचालित लो क्वालिटी कंटेंट ने सर्च रिजल्ट्स के वैल्यू को कम कर दिया है। इसने बेहतर सर्च एक्सपीरियंस के लिए कंज्यूमर की मांग को पूरा किया है।” ओपन एआई के चैटजीपीटी जैसे जनरेटिव एआई और बड़े लैग्वेंज मॉडल अब गूगल के सर्च को पहले की तरह चुनौती दे रहे हैं।

सोचर ने कहा, “गूगल को अपने मौजूदा बिजनेस मॉडल और बाजार में दबदबे के कारण जनरेटिव एआई जैसे नए प्रतिमानों को अपनाने की जरूरत है।” चूंकि माइक्रोसॉफ्ट एआई-संचालित बिंग सर्च और चैटजीपीटी के साथ अग्रणी है, इसलिए गूगल अगले महीने एक नया एआई-संचालित सर्च इंजन जारी करने के लिए तैयार है, जिसमें और अधिक विशेषताएं हैं। नए फीचर्स विशेष रूप से यूएस में उपलब्ध होंगे, और शुरूआत में अधिकतम एक मिलियन यूजर्स के लिए जारी किए जाएंगे। कंपनी के प्लान माइक्रोसॉफ्ट के बिंग चैटबॉट और ओपनएआई के चैटजीपीटी से उत्पन्न खतरे को पूरा करने के प्रयासों का हिस्सा है। द न्यूयॉर्क टाइम्स में एक रिपोर्ट कहती है, “नई बिंग जैसे एआई कॉम्पिटिटर्स 25 सालों में गूगल के सर्च बिजनेस के लिए सबसे बड़ा खतरा बन रहे हैं, और इसके जवाब में गूगल टेक्नोलॉजी नए-नए सर्च इंजन की ओर ध्यान दे रहा है।”

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