नए साल पर बनी रहेगी सोने की चमक, 70,000 रुपये तक पहुंच सकता है Gold

मुंबई: सोने की चमक नए साल 2024 में भी बनी रहेगी। साल की शुरुआत में सोना 70,000 रुपये प्रति 10 ग्राम के स्तर पर पहुंच सकता है। विशेषज्ञों का कहना है कि रुपये की स्थिरता, भूराजनीतिक अनिश्चितता और धीमी वैश्विक आर्थिक वृद्धि के कारण नए साल में भी सोने का आकर्षण कायम रहेगा।

फिलहाल जिंस एक्सचेंज एमसीएक्स में सोना 63,060 रुपये प्रति 10 ग्राम के स्तर पर है। अंतरराष्ट्रीय बाजार में यह 2,058 अमेरिकी डॉलर प्रति औंस के आसपास है। वहीं रुपया इस समय 83 प्रति डॉलर के पार पहुंच चुका है। दिसंबर की शुरुआत में वैश्विक तनाव की वजह से पश्चिम एशिया में सोने के दाम एक बार फिर चढ़ गए।

उभरते बाजार के कारोबारियों का अनुमान है कि ब्याज दर में बढ़ोतरी का चक्र कमोबेश समाप्त हो चुका है। हालांकि, इस साल सोने की कीमतों में काफी उतार-चढ़ाव रहा। घरेलू बाजार में चार मई को पीली धातु का भाव 61,845 रुपये प्रति 10 ग्राम के सर्वकालिक नए उच्चस्तर पर पहुंच गया।

वैश्विक बाजारों में यह 2,083 डॉलर प्रति औंस की नई ऊंचाई पर पहुंच गया। बाद में 16 नवंबर को सोना 61,914 रुपये प्रति 10 ग्राम की रिकॉर्ड ऊंचाई को छू गया। कॉमट्रेंड्ज रिसर्च के निदेशक ज्ञानशेखर त्यागराजन ने कहा, ‘‘निवेश के सुरक्षित विकल्प के रूप में सोने का आकर्षण बरकरार है।

यही वजह है कि इस साल चार दिसंबर को सोने का भाव 64,063 रुपये प्रति 10 ग्राम के नए रिकॉर्ड पर पहुंच गया। वैश्विक बाजार में यह 2,140 डॉलर प्रति औंस के उच्चतम स्तर पर पहुंच गया।’’ उन्होंने कहा, ‘‘हमें उम्मीद है कि 2024 में अंतत: यह अंतरराष्ट्रीय बाजार में 2,400 डॉलर प्रति औंस पर पहुंच जाएगा।

वहीं घरेलू बाजार में सोना 70,000 रुपये प्रति 10 ग्राम के स्तर पर जा सकता है। उन्होंने कहा कि चुनावी साल में रुपया कमजोर हो सकता है। इससे घरेलू स्तर पर सोने के दाम बढ़ेंगे। कोटक सिक्योरिटीज के उपाध्यक्ष – प्रमुख जिंसशोध रविंद्र राव ने कहा कि खुदरा आभूषण खरीदारी को भारत और चीन में उच्च घरेलू कीमतों से प्रतिकूल परिस्थितियों का सामना करना पड़ सकता है।

यदि मौजूदा रफ्तार जारी रहती है, तो केंद्रीय बैंकों की मांग पिछले साल के रिकॉर्ड से अधिक हो सकती है। राव ने कहा कि सोने का दाम भले ही कुछ समय तक ऊंचा बना रहे, लेकिन मौजूदा भू-राजनीतिक माहौल, धीमी वैश्विक वृद्धि और आर्थिक अनिश्चितता की वजह से पीली धातु का आकर्षण बना रहेगा।

ऑल इंडिया जेम एंड ज्वेलरी डोमेस्टिक काउंसिल (जीजेसी) के चेयरमैन संयम मेहरा ने कहा कि सोने की कीमतों में उतार-चढ़ाव से बिक्री पर असर पड़ा है और 30-35 लाख शादियों के बावजूद इस साल पीली धातु का कारोबार कमोबेश 2022 जैसा ही रहेगा।

- विज्ञापन -

Latest News