इंटरनेशनल डेस्क : हाल ही में, भारत के कोलकाता में चीनी महावाणिज्य दूत शू वेई ने अपने आधिकारिक निवास पर चीनी विश्वविद्यालय के विद्वानों के एक प्रतिनिधिमंडल के साथ मुलाकात की, जो रवीन्द्रनाथ टैगोर की चीन यात्रा की 100वीं वर्षगांठ और चीन और भारत के बीच राजनयिक संबंधों की स्थापना की 75वीं वर्षगांठ के उपलक्ष्य में अंतर्राष्ट्रीय संगोष्ठी में भाग लेने भारत आए थे।
इसके साथ ही, उन्होंने ऑब्जर्वर रिसर्च फाउंडेशन की कोलकाता शाखा के वरिष्ठ शोधकर्ता अनासुआ चौधरी और “टाइम्स ऑफ इंडिया”, “डेक्कन क्रॉनिकल” आदि मीडिया के पत्रकारों, तथा मशहूर भारतीय विद्वान सुधीन्द्र कुलकर्णी से भी मुलाकात की।
मुलाकात के दौरान, महावाणिज्य दूत शू वेई ने चीनी विद्वानों, भारतीय थिंक टैंक विद्वानों और मीडिया पत्रकारों के साथ गहन विचार-विमर्श किया। सभी पक्ष इस बात पर सहमत हुए कि मानविकी और शैक्षिक क्षेत्रों में आदान-प्रदान को मजबूत करने से चीन और भारत के लोगों के बीच आपसी समझ बढ़ाने में मदद मिलेगी और द्विपक्षीय संबंधों के स्वस्थ और स्थिर विकास के लिए सकारात्मक माहौल तैयार होगा। दोनों पक्षों को राजनयिक संबंधों की स्थापना की 75वीं वर्षगांठ से लाभ उठा कर दोनों देशों के लोगों के बीच आदान-प्रदान और बातचीत को और मजबूत करना चाहिए, तथा अधिक आपसी लाभ वाले सहयोग के परिणाम प्राप्त करने चाहिए।
इसके अलावा, सुप्रसिद्ध भारतीय विद्वान सुधीन्द्र कुलकर्णी, जो नव दक्षिण एशिया मंच के संस्थापक हैं, और पूर्व भारतीय प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी के महत्वपूर्ण सहायक थे, से मुलाकात के दौरान, दोनों पक्षों ने चीन-भारत स्थानीय सहयोग और समान चिंता वाले मुद्दों पर विचारों का आदान-प्रदान किया।
(साभार- चाइना मीडिया ग्रुप, पेइचिंग)