चीनी रक्षा मंत्रालय के प्रवक्ता चांग श्योकांग ने गुरुवार को एक संवाददाता सम्मेलन में चीन-भारत सीमा पर पूछे गये सवाल के जवाब में बताया कि चीन और भारत ने कूटनीतिक और सैन्य माध्यमों से सीमा से जुड़े संबंधित सवाल पर समाधान योजना संपन्न की है। दोनों पक्षों की अग्रिम टुकड़ियां व्यवस्थित रूप से योजना का कार्यांवयन कर रही हैं।
उन्होंने कहा कि चीनी राष्ट्रपति शी चिनफिंग ने कजान में भारतीय प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मुलाकात की। दोनों नेताओं का समान विचार है कि चीन और भारत को रणनीतिक तथा दूरगामी दृष्टि से चीन-भारत संबंध देखकर इससे निपटना और ठोस मतभेद को द्विपक्षीय संबंधों की आम स्थिति पर प्रभाव डालने नहीं देना चाहिए। हमें आशा है कि भारत चीन के साथ आगे बढ़कर दोनों देशों के नेताओं की अहम समानताओं के मार्गदर्शन में उपरोक्त समाधान योजना का बखूबी अंजाम देंगे और एक साथ सीमांत क्षेत्र की शांति व अमनचैन की रक्षा करेगा।
हाल ही में अमेरिकी रक्षा मंत्रालय द्वारा थाईवान को 1 अरब 98 करोड़ 80 लाख अमेरिकी डॉलर लागत हथियार बेचने पर टिप्पणी करते समय प्रवक्ता ने कहा कि चीन के थाईवान को हथियार बेचना एक चीन सिद्धांत और चीन व अमेरिका की तीन संयुक्त विज्ञप्तियों के विरुद्ध है और चीन की प्रभुसत्ता व सुरक्षा हितों का गंभीर उल्लंघन है। चीनी पक्ष इस की कड़ी निंदा व विरोध करता है। चीन ने इस मामले को अमेरिका के समक्ष उठाया है। उन्होंने बल दिया कि थाईवान सवाल चीन के केंद्रीय हितों का केंद्र है और चीन-अमेरिका संबंध में पहला अलंघ्य रेड लाइन है।
(साभार—चाइना मीडिया ग्रुप ,पेइचिंग)
It is hoped that India will work together with China