जम्मू-कश्मीर के श्रीनगर में स्थित 139.04 एकड़ जमीन प्रशासन को सौंपेगी सेना

श्रीनगर: एक महत्वपूर्ण सद्भावना संकेत के रूप में सेना ने श्रीनगर शहर के मध्य में स्थित 139.04 एकड़ रक्षा भूमि का कब्जा स्थानीय प्रशासन को सौंपने का फैसला किया है। सद्भावना का संकेत नागरिक आबादी और सेना के बीच टकराव से बचने के लिए एक बड़ा कदम है, जो 50 वर्षों से लगातार जम्मू-कश्मीर सरकारों.

श्रीनगर: एक महत्वपूर्ण सद्भावना संकेत के रूप में सेना ने श्रीनगर शहर के मध्य में स्थित 139.04 एकड़ रक्षा भूमि का कब्जा स्थानीय प्रशासन को सौंपने का फैसला किया है। सद्भावना का संकेत नागरिक आबादी और सेना के बीच टकराव से बचने के लिए एक बड़ा कदम है, जो 50 वर्षों से लगातार जम्मू-कश्मीर सरकारों की एक प्रमुख मांग रही है।

एक आधिकारिक बयान में कहा गया, ‘‘टैटू ग्राउंड में 139.04 एकड़ रक्षा भूमि को पर्यटन और अन्य संबंधित गतिविधियों के लिए विकसित किया जाएगा।’’ ‘‘रक्षा मंत्रालय ने पर्यटन और अन्य को बढ़ावा देने के लिए टैटू ग्राउंड में स्थित 139.04 एकड़ की रक्षा भूमि को गृह मंत्रालय को हस्तांतरित करने के लिए केंद्र शासित प्रदेश जम्मू-कश्मीर सरकार के माध्यम से गृह मंत्रालय के साथ एक समझौता ज्ञापन (एमओयू) पर हस्ताक्षर किए।

‘‘उपराज्यपाल, मनोज सिन्हा ने राजभवन में हस्ताक्षर समारोह की अध्यक्षता की। रक्षा मंत्रालय का प्रतिनिधित्व टैटू ग्राउंड गैरीसन के स्थानीय सैन्य प्राधिकरण और रक्षा संपदा अधिकारी कश्मीर सर्कल श्रीनगर के माध्यम से किया गया था। रक्षा मंत्रालय द्वारा 120 दिनों की अवधि के भीतर जमीन सौंप दी जाएगी। ‘‘उपराज्यपाल ने एमओयू को जम्मू-कश्मीर केंद्र शासित प्रदेश मंल प्रमुख पर्यटन स्थल विकसित करने के लिए एक महत्वपूर्ण अवसर बताया।

‘‘सहयोग के लिए सेना की सराहना करते हुए उपराज्यपाल ने कहा कि प्रशासन और सुरक्षा बल लोगों के कल्याण के लिए समर्पति हैं। उपराज्यपाल ने कहा, ‘हम एमओयू की सभी शर्तों को पूरा करने के लिए ईमानदार और समर्पति प्रयास करेंगे और पर्यटन और अन्य संबंधित गतिविधियों को इस तरह विकसित करेंगे कि कश्मीर घाटी में आने वाले पर्यटकों को टैटू ग्राउंड सबसे आकर्षक स्थलों में से एक लगे।‘

उन्होंने सेना के वरिष्ठ अधिकारियों के साथ शहीदों के सम्मान में चलाए जाने वाले ‘मेरा माटी मेरा देश’ अभियान और स्वतंत्रता दिवस कार्यक्रमों की तैयारियों पर भी चर्चा की। इस अवसर पर, ‘‘लेफ्टिनेंट जनरल राजीव घई, जीओसी 15 कोर; उपराज्यपाल के प्रधान सचिव डॉ. मनदीप कुमार भंडारी; श्विजय कुमार, एडीजीपी कश्मीर विजय बिधूड़ी, संभागीय आयुक्त कश्मीर, सेना और केंद्रशासित प्रदेश प्रशासन के वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित थे।

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