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गुणों की खान है ‘ब्रह्मदण्डी’ का पौधा, पत्ते से लेकर जड़ तक में है बिमारियों से लड़ने के गुण

Brahmadandi : प्रकृति के खजाने में अनगिनत औषधियां पाई जाती हैं। इन्हीं में से एक है ‘ब्रह्मदण्डी’, जिसे ‘सत्यानाशी’ या ‘आर्गेमोन मेक्सिकाना’ के नाम से भी जाना जाता है। यह पौधा दिखने में कांटेदार होता है, लेकिन इसकी खूबसूरती और महक ऐसी है कि जो भी इसे देखे, वह इसकी तरफ खींचा चला आए। इस.

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Brahmadandi : प्रकृति के खजाने में अनगिनत औषधियां पाई जाती हैं। इन्हीं में से एक है ‘ब्रह्मदण्डी’, जिसे ‘सत्यानाशी’ या ‘आर्गेमोन मेक्सिकाना’ के नाम से भी जाना जाता है। यह पौधा दिखने में कांटेदार होता है, लेकिन इसकी खूबसूरती और महक ऐसी है कि जो भी इसे देखे, वह इसकी तरफ खींचा चला आए। इस पौधे को स्वास्थ्य के लिए वरदान माना जाता है।

गुणों की खान है यह पौधा-
देश के ग्रामीण क्षेत्रों से लेकर मैदानों और पहाड़ियों तक यह पौधा मिल जाता है। प्राचीन काल से ही आयुर्वेद में इसके जड़, पत्तियों, बीजों और रस का इस्तेमाल कई रोगों को दूर करने के लिए किया जाता रहा है। इस पौधे की शक्तियों का अंदाजा इसी बात से लगाया जा सकता है कि इसमें एंटी-बैक्टीरियल, एंटी-इंफ्लेमेटरी और दर्द निवारक गुण पाए जाते हैं। तो आइए जानते हैं, इस चमत्कारी पौधे के फायदों के बारे में।

शूगर लेवल होता है कंट्रोल-
ब्रह्मदण्डी का पौधा हमारी सेहत और आयुर्वेद के लिए बहुत ही फायदेमंद माना गया है। कहा जाता है कि ब्रह्मदण्डी पौधा शुगर के मरीजों के लिए काफी लाभकारी है। इसके पत्ताें को खाने से शुगर लेवल को दुरुस्त किया जा सकता है और इसके साथ ही ये एंटी-डायबिटिक गुणों से भरपूर होने के चलते खून में शुगर लेवल को कंट्रोल करने का काम करता है।

ब्रह्मदण्डी के पत्ते भी हैं कारगर-
यही नहीं, इसके पत्ताें में मौजूद पोषक तत्व सर्दी-बुखार जैसी बीमारी से भी निजात दिला सकते हैं। साथ ही ब्रह्मदण्डी के पत्ताें में मौजूद गुण शरीर के बैक्टीरिया को मारने में भी कारगर माने गए हैं। इसके अलावा, इसकी पत्तियों को खाने से पेट संबंधित समस्या का भी निवारण हो सकता है। कहते हैं कि इसके पत्ते खाने से पाचन तंत्र को मजबूत बनाया जा सकता है।

पोषक तत्वों से भरपूर-
इसके अलावा, ब्रह्मदण्डी के पौधे में कैल्शियम, सोडियम, कैलोरी, प्रोटीन, जिंक जैसे पोषक तत्व मौजूद होते हैं, जो शरीर को स्वस्थ रखने में मदद कर सकते हैं। इसका सेवन करने से शरीर में बढ़ते कोलेस्ट्रॉल को भी कंट्रोल किया जा सकता है। साथ ही मोटापे को भी नियंत्रित करने में इसे कारगर माना गया है। इसे एनोरेक्सिया जैसी बीमारी में भी रामबाण माना गया है।

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