चंडीगढ़: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सोमवार को हरियाणा के पानीपत से राष्ट्रव्यापी बीमा सखी योजना की शुरुआत की, जो महिला सशक्तिकरण में एक महत्वपूर्ण मील का पत्थर साबित होगी। 2015 में पानीपत से शुरू हुए बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ अभियान की सफलता पर विचार करते हुए, प्रधानमंत्री ने न केवल हरियाणा बल्कि पूरे देश में इसके सकारात्मक प्रभाव को स्वीकार किया।
उन्होंने कहा कि पानीपत महिला सशक्तिकरण और प्रगति का प्रतीक बन गया है। इस अवसर पर प्रधानमंत्री ने करनाल में महाराणा प्रताप बागवानी विश्वविद्यालय के मुख्य परिसर का वर्चुअली शिलान्यास भी किया। इस अवसर पर प्रधानमंत्री ने प्रतीकात्मक रूप से हरियाणा, कर्नाटक, त्रिपुरा, उत्तर प्रदेश और हिमाचल प्रदेश की 5 महिलाओं को बीमा सखी नियुक्ति पत्र सौंपे। ये पत्र देशभर की करीब 25,000 बीमा सखियों को सौंपे गए।
इस अवसर पर हरियाणा के राज्यपाल बंडारू दत्तात्रेय, हरियाणा के मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी, केंद्रीय वित्त मंत्री श्रीमती निर्मला सीतारमण, केंद्रीय ऊर्जा और आवास एवं शहरी मामलों के मंत्री मनोहर लाल, केंद्रीय राज्य मंत्री राव इंद्रजीत सिंह, हरियाणा के कैबिनेट मंत्री श्रीमती श्रुति चौधरी और कुमारी आरती सिंह राव भी मौजूद रहे।
प्रधानमंत्री ने लगातार तीसरी बार भाजपा सरकार को पुनः चुनने के लिए हरियाणा की जनता के प्रति आभार व्यक्त किया तथा कहा कि “एक है-तो सुरक्षित है” का नारा राष्ट्र के लिए एक आदर्श बन गया है।
प्रधानमंत्री ने मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी की सरकार की भी सराहना की तथा कहा कि सत्ता में आने के कुछ ही महीनों में मुख्यमंत्री नायब सैनी की सरकार को पूरे देश में प्रशंसा मिल रही है। पूरे देश ने देखा है कि राज्य सरकार बनते ही युवाओं को बिना किसी पर्ची खर्ची के सरकारी नौकरियां दी गईं। उन्होंने हरियाणा की जनता को आश्वस्त किया कि लगातार तीसरी बार बनी डबल इंजन की सरकार राज्य के विकास की गति को और तेज करेगी।
प्रधानमंत्री ने कहा कि केंद्र और हरियाणा सरकार किसानों के कल्याण के लिए लगातार काम कर रही है। पिछले 10 वर्षों में हरियाणा में किसानों को MSP के रूप में 1.25 लाख करोड़ रुपए दिए गए हैं। इसके अलावा धान, बाजरा और मूंग की फसलों के लिए किसानों को 14,000 करोड़ रुपए दिए गए हैं।
उन्होंने कहा कि सूखा प्रभावित किसानों को 800 करोड़ रुपये दिए गए हैं। प्रधानमंत्री ने यह भी विश्वास व्यक्त किया कि महाराणा प्रताप बागवानी विश्वविद्यालय की स्थापना से हरियाणा को फलों और सब्जियों के उत्पादन में अग्रणी बनाने में मदद मिलेगी।