Tamil Nadu के लिए पानी छोड़ने के निर्देश को उच्चतम न्यायालय में दी जाएगी चुनौती : CM Siddaramaiah

चामराजनगरः कर्नाटक के मुख्यमंत्री सिद्धरमैया ने बुधवार को कहा कि तमिलनाडु के लिए पानी छोड़ने के कावेरी जल विनियमन समिति (सीडब्ल्यूआरसी) के निर्देश को उच्चतम न्यायालय में चुनौती दी जाएगी। समिति ने कर्नाटक को 28 सितंबर से 15 अक्टूबर के बीच पड़ोसी राज्य तमिलनाडु को 3,000 घन फुट प्रति सेकंड (क्यूसेक) की दर से पानी.

चामराजनगरः कर्नाटक के मुख्यमंत्री सिद्धरमैया ने बुधवार को कहा कि तमिलनाडु के लिए पानी छोड़ने के कावेरी जल विनियमन समिति (सीडब्ल्यूआरसी) के निर्देश को उच्चतम न्यायालय में चुनौती दी जाएगी। समिति ने कर्नाटक को 28 सितंबर से 15 अक्टूबर के बीच पड़ोसी राज्य तमिलनाडु को 3,000 घन फुट प्रति सेकंड (क्यूसेक) की दर से पानी छोड़ने का निर्देश दिया है। सिद्धरमैया ने कहा कि उन्होंने प्रदेश की कानूनी टीम से बात की है और उसने इस निर्देश को सर्वोच्च अदालत में चुनौती देने की राय दी है।

उन्होंने इस जिले के माले महादेश्वर हिल्स में संवाददाताओं से बातचीत करते कहा, कि ‘हम विनियमन समिति के आदेश को सर्वोच्च अदालत में चुनौती दे रहे हैं। हमारे पास देने के लिए पर्याप्त पानी नहीं है।’’ उपमुख्यमंत्री डी. के. शिवकुमार ने सीडब्ल्यूआरसी द्वारा तमिलनाडु के अनुरोध को खारिज करने पर मंगलवार को संतोष जताया था। तमिलनाडु की मांग थी कि कर्नाटक 12,000 क्यूसेक पानी छोड़े। समिति ने कर्नाटक को 3,000 क्यूसेक पानी छोड़ने की सिफारिश की।

कर्नाटक के अधिकारियों के अनुसार, इस वर्ष दक्षिण-पश्चिम मानसून (जून से सितंबर तक) के दौरान काफी कम बारिश होने से राज्य के चार अहम जलाशयों में पानी का पर्याप्त भंडार नहीं है। अधिकारियों के अनुसार राज्य में इतनी गंभीर स्थिति है कि ंिसचाई के लिए पानी की आपूíत तो दूर, पेयजल की जरूरतों को पूरा करने में परेशानी आ रही है। उन्होंने कहा कि इस साल अगस्त एवं सितंबर में कर्नाटक में हुई बारिश पिछले 123 साल में सबसे कम है।

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