नई दिल्लीः सरकार ने स्थायी खाता संख्या (पैन) को आधार से जोड़ने की समयसीमा तीन महीने बढ़ाकर 30 जून, 2023 कर दी है। एक आधिकारिक बयान में मंगलवार को यह जानकारी दी गई। इससे करदाताओं को इस प्रक्रिया के लिए कुछ और समय मिल सकेगा। पहले इसकी समयसीमा 31 मार्च थी। वित्त मंत्रालय ने बयान में कहा कि कोई भी व्यक्ति संबंधित प्राधिकरण को आधार से पैन जोड़ने के लिए अपनी आधार संख्या की जानकारी दे सकेगा। आयकर अधिनियम, 1961 के तहत कोई भी व्यक्ति जिसे एक जुलाई, 2017 तक पैन आवंटित किया गया है और वह आधार नंबर पाने का पात्र है, उसे संबंधित प्राधिकरण को तय शुल्क के भुगतान के साथ 31 मार्च, 2023 तक अपने आधार नंबर की जानकारी देने की जरूरत होगी।
ऐसा नहीं करने पर एक अप्रैल, 2023 से उन पर जुर्माना लग सकता है। अब पैन को आधार से जोड़ने की समयसीमा को बढ़ाकर 30 जून, 2023 कर दिया गया है। इस तरह अपने आधार की जानकारी देने में विफल रहे करदाताओं का पैन एक जुलाई, 2023 से निष्क्रिय हो जाएगा। अभी तक 51 करोड़ पैन को आधार से जोड़ा जा चुका है। एक बार पैन के निष्क्रिय होने के बाद संबंधित करदाता न तो कर रिफंड और न ही उस पर ब्याज का दावा कर पाएगा। इसके अलावा उससे स्नेत पर कर कटौती (टीडीएस) और स्नेत पर कर संग्रह (टीसीएस) भी अधिक दर पर लिया जाएगा।
मंत्रालय ने कहा कि संबंधित प्राधिकरण को 1,000 रुपए के भुगतान के बाद 30 दिन के अंदर पैन को फिर शुरू किया जा सकेगा। हालांकि पैन-आधार को जोड़ने से छूट मिली हुई श्रेणी के लोगों को किसी तरह की कार्रवाई का सामना नहीं करना पड़ेगा। इस श्रेणी में कुछ निश्चित राज्यों में रहने वाले लोग, आयकर कानून के तहत अनिवासी, ऐसा व्यक्ति जो भारत का नागरिक नहीं है और पिछले साल के दौरान किसी भी समय 80 साल की आयु पूरी कर चुके व्यक्ति शामिल हैं। पिछले सप्ताह लोकसभा में कांग्रेस के नेता अधीर रंजन चौधरी ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को पत्र लिखकर पैन को आधार से जोड़ने की समयसीमा छह महीने बढ़ाने और 1,000 रुपए का शुल्क हटाने की मांग की थी।