Kharmas 2023: खरमास में क्यों नहीं करते शादी? जानें इस महीने क्या करें और क्या नहीं

शस्त्रो के अनुसार सूर्य का किसी राशि में प्रवेश संक्रांति कहलाता है। जब सूर्य धनु राशि में प्रवेश करते हैं तो इसे धनु संक्रांति कहा जाता है। धनु राशि बृहस्पति की आग्नेय राशि है और इसमें सूर्य का प्रवेश विशेष परिणाम पैदा करता है। लोगों के मन में खूब सारी चंचलता आ जाती ह। ज्योतिषीय.

शस्त्रो के अनुसार सूर्य का किसी राशि में प्रवेश संक्रांति कहलाता है। जब सूर्य धनु राशि में प्रवेश करते हैं तो इसे धनु संक्रांति कहा जाता है। धनु राशि बृहस्पति की आग्नेय राशि है और इसमें सूर्य का प्रवेश विशेष परिणाम पैदा करता है। लोगों के मन में खूब सारी चंचलता आ जाती ह। ज्योतिषीय कारणों से शुभ कार्य वर्जित हो जाते हैं, इसलिए इसे धनु खरमास भी कहते हैं. धनु खरमास आज से प्रारंभ हो रहा है।

किसी भी विवाह का सबसे बड़ा उद्देश्य सुख और समृद्धि की प्राप्ति होती है। धनु राशि को सम्पन्नता की राशि माना जाता है /इस समय सूर्य धनु राशि में चला जाता है, जिसको सुख समृद्धि के लिए अच्छा नहीं माना जाता है. इस समय अगर विवाह किया जाए तो सुख मिलने के योग कम होते हैं। .

खरमास में क्यों नहीं करते मंगल कार्य?
खरमास में द्विरागमन, कर्णवेध, और मुंडन जैसे मंगल कार्य भी इस अवधि में वर्जित होते हैं। धनु राशि यानी अग्नि भाव में सूर्य का होना, इस अवधि में स्थितियों को बिगाड़ सकता है. इस दौरान किए गए काम रिश्ते खराब करते हैं।

खरमास में क्यों नहीं शुरू करते नया काम?
खरमास में नया व्यवसाय आरम्भ करना आर्थिक मुश्किलों को जन्म देता है, क्योंकि इस समय बिना चाहे खर्चे काफी बढ़ सकते है। इस अवधि में शुरू किए हुए व्यवसाय बीच में रुक जाते हैं. इंसान कर्जदार हो सकता है. लोगों के बीच धन फंस सकता है।

धनु खरमास में क्यों नहीं खरीदते संपत्ति?
संपत्ति बनाने का उद्देश्य संपत्ति का सुख पूर्वक उपभोग करना है। अगर इस समय में मकान बनाया जाएगा तो उसका सुख मिल पाना काफी कठिन होगा। अगर ऐसा प्रयास किया जाए तो काम बीच में बाधाओं के कारण रुक भी सकता है। कभी कभी दुर्घटनाओं की संभावनाएं भी बन जाती हैं. इस अवधि में बनाए गए मकान आमतौर पर कमजोर होते हैं और उनसे निवास का सुख नहीं मिल पाता है।

खरमास का उपाय
रोज सुबह हल्दी मिला हुआ जल सूर्य को अर्पित करें। हल्दी या केसर का तिलक लगाएं. रोज शाम शनि मंत्र का जप करें। शनिवार शाम को पीपल के नीचे दीपक जलाएं. सात्विक रहने का प्रयत्न करे।

खरमास में कौन से काम कर सकते हैं?
अगर प्रेम-विवाह या स्वयंवर का मामला हो तो विवाह किया जा सकता है. अगर कुंडली में बृहस्पति धनु राशि में हो तो भी इस अवधि में शुभ कार्य किए जा सकते हैं. जो कार्य नियमित रूप से हो रहे हों उनको करने में भी खरमास का कोई बंधन या दबाव नहीं है। सीमान्त, जातकर्म और अन्नप्राशन आदि कर्म पूर्व निश्चित होने से इस अवधि में किए जा सकते हैं. गया में श्राद्ध भी इस अवधि में किया जा सकता है।

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