7 से 10 दिसंबर तक, चीनी राष्ट्रपति शी चिनफिंग ने रियाद में प्रथम चीन-अरब देश शिखर सम्मेलन और चीन-खाड़ी सहयोग परिषद शिखर सम्मेलन में भाग लिया और सऊदी अरब की राजकीय यात्रा की। यात्रा संपन्न होने पर चीनी विदेश मंत्री वांग यी ने संवाददाताओं को मौजूदा यात्रा की स्थिति से अवगत कराया और कहा कि यह नए चीन की स्थापना (1 अक्तूबर 1949) के बाद से अरब दुनिया में चीन की सबसे बड़ी और सबसे उच्च स्तर वाली कूटनीतिक कार्रवाई है, और साथ ही चीनी कम्युनिस्ट पार्टी की 20वीं राष्ट्रीय कांग्रेस के आयोजन के बाद चीनी विशेषता वाले प्रमुख देश के रूप में चीन की कूटनीति के सफल अभ्यास का एक और दौर है। इस यात्रा से चीन-अरब संबंधों का नया अध्याय जुड़ा है, और इससे अंतरराष्ट्रीय और क्षेत्रीय स्थिति पर गहरा प्रभाव पड़ेगा।
प्रथम चीन-अरब देश शिखर सम्मेलन में शी चिनफिंग ने खास तौर पर चीन और अरब देशों के बीच दोस्ती की भावना के अर्थ की व्याख्या की, यानी कि एक दूसरे की मदद करना चीन-अरब मित्रता की एक विशिष्ट विशेषता है। समानता और पारस्परिक लाभ चीन-अरब मित्रता की अटूट प्रेरणा शक्ति हैं। सहिष्णुता और आपसी सीख चीन-अरब मित्रता का मूल्य उन्मुखीकरण है।
चीन और अरब देशों ने “पहले चीन-अरब देश शिखर सम्मेलन का रियाद घोषणा-पत्र” जारी किया और नए युग के उन्मुख चीन-अरब साझा भाग्य वाले समुदाय के निर्माण के लिए हर संभव प्रयास करने पर सहमत हुए। इसकी चर्चा करते हुए चीनी विदेश मंत्री वांग यी ने कहा कि दुनिया भर में भारी परिवर्तन आने की परिस्थिति में चीन और अरब देशों का हाथ मिलाकर साझा भाग्य वाले समुदाय का निर्माण करना निश्चित रूप से मानव जाति में शांति की रक्षा, विकास के संवर्धन, न्याय के पालन और प्रगति की खोज में बड़ी सकारात्मक ऊर्जा का संचार करेगा।
प्रथम चीन-खाड़ी सहयोग परिषद शिखर सम्मेलन में शी चिनफिंग ने भाषण देते हुए एकता, विकास, सुरक्षा और सभ्यता सहित चार पहलुओं में चीन और खाड़ी सहयोग परिषद के बीच रणनीतिक साझेदारी कैसे स्थापित की जाय, इसकी व्याख्या की। उन्होंने बल देते हुए कहा कि चीन और खाड़ी सहयोग परिषद को एकता को बढ़ावा देने के भागीदार, समान विकास तलाशने के भागीदार, सुरक्षा के सह-निर्माण के भागीदार और सभ्यता को बढ़ावा देने के भागीदार बनना चाहिए।
शी चिनफिंग ने आने वाले 3 से 5 सालों में चीन और खाड़ी सहयोग परिषद के बीच सहयोग के पाँच प्रमुख क्षेत्र पेश किए। पहला, त्रि-आयामी ऊर्जा सहयोग का नया पैटर्न बनाया जाए। दूसरा, वित्तीय निवेश सहयोग में नई प्रगति को बढ़ावा दिया जाए। तीसरा, नवाचार और प्रौद्योगिकी सहयोग के नए क्षेत्रों का विस्तार किया जाए। चौथा, एयरोस्पेस सहयोग में नई सफलता हासिल की जाए। पांचवां, भाषा और संस्कृति के क्षेत्र में नए सहयोग का विकास किया जाए। ये पाँच क्षेत्र द्विपक्षीय सहयोग को व्यापक रूप से बढ़ावा दिया जाएगा और छलांग के विकास को बखूबी अंजाम दिया जाएगा।
चीनी विदेश मंत्री वांग यी ने कहा कि राष्ट्रपति शी चिनफिंग की मौजूदा सऊदी अरब यात्रा चीनी कम्युनिस्ट पार्टी की 20वीं राष्ट्रीय कांग्रेस के बाद चीन के सर्वोच्च नेता की पहली मध्य-पूर्व देश की यात्रा है, इसने न केवल चीन-सऊदी अरब संबंधों के विकास में नए चरण में प्रवेश किया है, बल्कि चीन और अरब देशों के बीच आपसी सम्मान, समान व्यवहार और उभय जीत सहयोग का बेंचमार्क भी स्थापित किया है, जो मानव जाति के साझा भाग्य वाले समुदाय और नए प्रकार के अंतर्राष्ट्रीय संबंध के निर्माण को बढ़ावा देने में सकारात्मक असर डालेगा।
वांग यी ने कहा कि इस वर्ष समरकंद में एससीओ सदस्य देशों के राज्य प्रमुखों की परिषद के सम्मेलन से बाली द्वीप में जी-20 शिखर सम्मेलन, और बैंकॉक में एपेक नेताओं के अनौपचारिक सम्मेलन तक, फिर रियाद में चीन-अरब देश शिखर सम्मेलन और चीन-खाड़ी सहयोग परिषद शिखर सम्मेलन तक, चीन ने अपनी आवाज देते हुए युगात्मक सवाल का जवाब दिया। चीनी दोस्तों का दायरा लगातार विस्तृत हो रहा है, नए दोस्त अधिक से अधिक हो रहे हैं और पुराने दोस्तों के बीच संबंध ज्यादा से ज्यादा घनिष्ठ हो रहे हैं।
(साभार- चाइना मीडिया ग्रुप, पेइचिंग)