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Air India की एक और फ्लाइट में पेशाब करने का मामला आया सामने, लगा 10 लाख का जुर्माना

नई दिल्लीः विमानन नियामक डीजीसीए ने पिछले महीने एयर इंडिया की पेरिस-दिल्ली उड़ान में यात्रियों के खराब बर्ताव की दो घटनाओं के बारे में जानकारी नहीं देने पर एयरलाइन पर 10 लाख रुपए का जुर्माना लगाया है। नागर विमानन महानिदेशालय (डीजीसीए) ने मंगलवार को जारी एक बयान में कहा कि गत छह दिसंबर को एयर.

नई दिल्लीः विमानन नियामक डीजीसीए ने पिछले महीने एयर इंडिया की पेरिस-दिल्ली उड़ान में यात्रियों के खराब बर्ताव की दो घटनाओं के बारे में जानकारी नहीं देने पर एयरलाइन पर 10 लाख रुपए का जुर्माना लगाया है। नागर विमानन महानिदेशालय (डीजीसीए) ने मंगलवार को जारी एक बयान में कहा कि गत छह दिसंबर को एयर इंडिया की पेरिस-नयी दिल्ली उड़ान एआई-142 में यात्रियों के खराब आचरण की दो घटनाएं हुई थीं। लेकिन नियामक को इनकी जानकारी जनवरी में होने पर एयर इंडिया पर 10 लाख रुपए का जुर्माना लगाया जा रहा है।

नियामक ने कहा कि इस उड़ान में सवार एक यात्री नशे की स्थिति में शौचालय में धूम्रपान करते हुए पाया गया था। उसी उड़ान में एक अन्य यात्री ने बगल की खाली सीट पर रखे कंबल पर कथित तौर पर पेशाब कर दिया था। उस समय बगल की सीट पर बैठी महिला यात्री शौचालय गई हुई थी। टाटा समूह की अगुवाई वाली एयर इंडिया पर एक हफ्ते से भी कम समय में दूसरी बार डीजीसीए ने जुर्माना लगाया है। पिछले हफ्ते भी विमानन नियामक ने एयरलाइन की न्यूयॉर्क-दिल्ली उड़ान के दौरान एक यात्री के महिला सहयात्री पर नशे की हालत में पेशाब करने की घटना में उसपर 30 लाख रुपये का जुर्माना लगाया था।

इस तरह पिछले कुछ महीनों में एयर इंडिया की उड़ान के दौरान यात्रियों के पेशाब करने की यह दूसरी घटना है। इन दोनों ही मामलों में एयर इंडिया की तरफ से डीजीसीए को समय पर जानकारी नहीं दिए जाने की बात सामने आई है। डीजीसीए ने कहा, कि ‘एयर इंडिया पर इस मामले की जानकारी समय पर नहीं देने के लिए 10 लाख रुपए का जुर्माना लगाया गया है। एयरलाइन ने अपनी आंतरिक समिति को भी यह मामला सौंपने में देरी की थी जो नागर विमानन नियमों का उल्लंघन है।’’ इस मामले में डीजीसीए ने जनवरी की शुरुआत में एयर इंडिया के जवाबदेही प्रबंधक को कारण बताओ नोटिस जारी कर पूछा था कि एयरलाइन के खिलाफ कार्रवाई क्यों न की जाए। इसपर एयर इंडिया ने 23 जनवरी को अपना जवाब सौंपा था। उसकी समीक्षा के बाद नियामक ने जुर्माना लगाने का फैसला किया है।

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