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Horoscope 2024: जानिए मेष और वृष राशि वालों के लिए कैसा रहेगा नया साल

जल्द ही नया साल 2024 आने वाला है। सभी चाहते है कि इस बार का नया साल उनके लिए खुशियां लेकर आए। आइए जानते है मेष, वृष, मिथुन, कर्क, सिंह, कन्या, तुला, वृश्चिक, धनु, मकर, कुंभ और मीन राशि वालों के लिए नया साल क्या कुछ लेकर आ रहा है और क्या कह रही है.

जीवन को संवारने का काम करता है पूजा के समय जलाया गया कपूर, जानिए इससे जुड़े चमत्कारी उपाय

हिंदू धर्म में पूजा-पाठ को बहुत महत्वपूर्ण माना जाता है। पूजा के समय बहुत सारी सामग्रियों का उपयोग किया जाता है जिसमे से कपूर को सबसे महत्वपूर्ण माना जाता है। हिंदू धर्म में शुभ और पवित्र माना गया है। माना जाता है कि कपूर जलाने से घर की नकारात्मकता खत्म होती है और सकारात्मकता का.

वीरता की अमर मिसाल साहिबजादों का बलिदान

श्री गुरु नानक देव जी ने अपने दस स्वरूपों में मानवता की निष्काम सेवा की। इतिहास इस बात का साक्षी है कि जब भी बलिदान की आवश्यकता पड़ी तो जीवन का बलिदान देने में भी गुरु साहिब पीछे नहीं रहे। दशम पिता गुरु गोबिंद सिंह जी के चारों साहिबजादों में भी शहीद होने की समर्था,.

धर्मोपदेश की स्मृति में है भीष्म पंचक व्रत

यह व्रत कार्तिक शुक्ला एकादशी से आरम्भ होकर पूर्णिमा को समाप्त होता है। इसी लिए इसे भीष्म-पंचक कहते हैं। इस दिन स्नानादि से शुद्ध होकर पापों के नाश और धर्म, अर्थ, काम और मोक्ष की प्राप्ति के लिए इस व्रत का संकल्प करें। घर के आंगन में चार दरवाजों वाला मंडप बनाकर उसे गोबर से.

जानिए आंवले के वृक्ष की उत्पत्ति और उसके महात्म्य के बारे में

सूतजी कहते हैं- कार्तिक के शुक्लपक्ष की चतुर्दशी को आंवले का पूजन करें। आंवले का महान वृक्ष सब पापों का नाश करने वाला है। उक्त चतुर्दशी का नाम बैकुण्ठ चतुर्दशी है। उस दिन आंवले की छाया में जाकर मनुष्य राधा सहित देवेश्वर श्रीहरि का पूजन करें। तदनन्तर आंवले की एक सौ आठ प्रदक्षिणा करें। फिर.

भगवान का आह्वान है तुलसी विवाह, जानिए इससे जुड़ी कुछ खास बातें

देवोत्थान एकादशी के दिन मनाया जाने वाला तुलसी विवाह विशुद्ध मांगलिक और आध्यात्मिक प्रसंग है। देवता जब जागते हैं, तो सबसे पहली प्रार्थना हरिवल्लभा तुलसी की ही सुनते हैं इसीलिए तुलसी विवाह को देव जागरण के पवित्र मुहूर्त के स्वागत का आयोजन माना जाता है। तुलसी विवाह का सीधा अर्थ है, तुलसी के माध्यम से.

जानिए श्रीराम भक्त हनुमान जी के सालासर धाम के बारे में

बालाजी श्रीराम भक्त हनुमान का दूसरा नाम है। बालाजी धाम के नाम से देश में कई तीर्थ विकसित हैं। इनमें मेहंदीपुर के बालाजी, पाण्डू पोल के बालाजी (अलवर) चांदपोल के बालाजी (जयपुर), गोदावरी धाम के बालाजी (कोटा) ये सभी श्रद्धालुओं के मन में अपनी महत्ता रखते हैं। लाखों दर्शनार्थी प्रतिवर्ष यहां दर्शनार्थ आते हैं। राजस्थान.

भाग्योदय के बिना नहीं मिलता मनचाहा फल

हम अपने आसपास देखते हैं कि कुछ लोगों को पैदा होते ही सब सुखसुविधाएं, ऐशो-आराम मानो थाली में परोसे हुए भोजन की तरह सरलता से उपलब्ध हो जाते हैं। जिस भी कार्य को वे हाथ में लेते हैं, उसमें सफल हो जाते हैं यानी मिट्टी को भी यदि वे हाथ लगा लेते हैं तो वह.

आज है साल का आखिरी गोचर, इन तीन राशि वालों को मिलेगा धन लाभ

साल 2023 जल्द ही समाप्त होने जा रहा है। आपको बता दें कि आज इस साल का अंतिम गोचर लगने जा रहा है। इसी के साथ यह साल जाते जाते भी कई राशि के लोगों को फायदा पहुंचा कर जाएगा। साल 2023 के आखिरी तीन दिनों में तीन राशि के जातकों को विशेष लाभ पहुंचेगा।.

28 दिसंबर को लगने जा रहा है साल का आखिरी गोचर, इन तीन राशि वालों को मिलेगा धन लाभ

साल 2023 जल्द ही समाप्त होने जा रहा है। आपको बता दें कि इस साल के अंत में 28 दिसंबर को साल का आखिरी गोचर लगने जा रहा है। इसी के साथ यह साल जाते जाते भी कई राशि के लोगों को फायदा पहुंचा कर जाएगा। साल 2023 के आखिरी तीन दिनों में तीन राशि.
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