कनाडा में ऑटो चोरी मामले में गिरफ्तार 12 लोगों में भारतीय मूल का शख्स भी

टोरंटो : ऑटो चोरी और बीमा धोखाधड़ी गिरोह का भंडाफोड़ करते हुए कनाडा की पुलिस ने ग्रेटर टोरंटो एरिया और उसके आसपास से 12 लोगों को गिरफ्तार किया है। गिरफ्तार किए गए लोगों में 25 साल का भारतीय मूल का एक शख्स भी शामिल है। पील क्षेत्रीय पुलिस ने बुधवार को कहा कि 1.2 मिलियन.

टोरंटो : ऑटो चोरी और बीमा धोखाधड़ी गिरोह का भंडाफोड़ करते हुए कनाडा की पुलिस ने ग्रेटर टोरंटो एरिया और उसके आसपास से 12 लोगों को गिरफ्तार किया है। गिरफ्तार किए गए लोगों में 25 साल का भारतीय मूल का एक शख्स भी शामिल है। पील क्षेत्रीय पुलिस ने बुधवार को कहा कि 1.2 मिलियन डॉलर से अधिक मूल्य की नौ चोरी की गाड़ियों को जब्त कर लिया गया और प्रोजेक्ट मेम्फिस जांच में आरोपियों पर 81 से अधिक आरोप तय किए गए।

मिसिसॉगा के राहुल बेदी पर 5,000 डॉलर की धोखाधड़ी करने और चोरी के सामान की तस्करी करने का आरोप है। उस पर आरोप है कि उसने अन्य आरोपियों के साथ मिलकर कई वित्तीय और बीमा संस्थानों को धोखा देने का प्रयास किया। पील क्षेत्रीय पुलिस के प्रमुख निशान दुरईअप्पा ने कहा, ‘प्रोजेक्ट मेम्फिस एक जटिल और बहुआयामी जांच थी जिसके लिए अविश्वसनीय जांच प्रयासों की आवश्यकता थी।‘

जांचकर्ताओं ने कहा कि बीमा में 350,000 डॉलर की धोखाधड़ी को रोका गया, साथ ही जांच के दौरान कई वाहन भी जब्ज़्त किए गए जिनमें बीएमडब्ल्यू, रेंज रोवर्स, बेंटले, बेंटायगा, पोर्श पनामेरा और जीप रैंगलर शामिल हैं। यह जांच मार्च 2023 में शुरू हुई,जब पील क्षेत्रीय पुलिस को संभावित री-विन्ड वाहन की जानकारी प्रदान की गई।

री-विनिंग में वाहन की मूल पहचान संख्या या वीआईएन को हटा दिया जाता है और उसकी जगह जाली नंबर डाल दिया जाता है। जांचकर्ताओं ने पाया कि चोरी किए गए कुछ वाहनों को मिसिसॉगा में धोखाधड़ी से फिर से पंजीकृत और बेचा जा रहा था।

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