चेयर के नजदीक जाकर Manipur चर्चा की मांग करने पर कर दिया जाता है सस्पेंड : सांसद Raghav Chadha

नई दिल्लीः आम आदमी पार्टी के राज्यसभा सांसद राघव चड्ढा ने कहा है कि भारत के संसदीय इतिहास में यह देखा गया है कि किसी भी सदस्य को पूरे सत्र के लिए निलंबित कर देना, अति दुर्लभ स्थिति में चेयर द्वारा किया जाता है। गौरतलब है कि आप सांसद संजय सिंह को शेष बचे पूरे.

नई दिल्लीः आम आदमी पार्टी के राज्यसभा सांसद राघव चड्ढा ने कहा है कि भारत के संसदीय इतिहास में यह देखा गया है कि किसी भी सदस्य को पूरे सत्र के लिए निलंबित कर देना, अति दुर्लभ स्थिति में चेयर द्वारा किया जाता है। गौरतलब है कि आप सांसद संजय सिंह को शेष बचे पूरे मानसून सत्र के लिए निलंबित कर दिया गया है। आम आदमी पार्टी का कहना है कि मणिपुर से हैवानियत भरी विडियोज और फोटो आ रही है। इन वीडियो और फोटो को देखकर लगता है पूरे देश का दिल दहल गया है। आपने देखा कि कैसे कारगिल युद्ध के समय हमारे देश का एक सूबेदार जिसने देश के लिए लड़ाई लड़ी और देश की रक्षा की आज उसकी धर्मपत्नी को निर्वस्त्र कर किस प्रकार से छेड़छाड़ की गई।

बेचारा सूबेदार कह रहा है कि मैंने देश की रक्षा तो की लेकिन मैं अपने परिवार और पत्नी की रक्षा नहीं कर पाया। राघव का कहना है कि अक्सर यह ऐसे मामलों में किया जाता है जब या तो किसी सदस्य ने चेयर के प्रति या किसी सदस्य के प्रति आक्रमण किया हो, एक्ट वॉयलेंस हुआ हो, कोई किताब फाढ़कर चेयर पर फेंकी हो या माइक तोड़ा हो या आपत्तिजनक चीज की हो। राघव ने मंगलवार को कहा कि पहली बार देखा गया है कि देश की एक बर्नगिं इश्यू के मुद्दे पर देश का एक अभिन्न अंग मणिपुर जल रहा है उस विषय पर बहस मांगने के लिए जब एक सदस्य चेयर के पास जाकर दरख्वास्त करने का प्रयास करते हैं उन को सस्पेंड कर दिया जाता है यह पहली बार देखा गया है।

उन्होंने कहा कि यह महिला सुरक्षा का मुद्दा है राष्ट्रीय सुरक्षा का मुद्दा है और इसलिए हम कहना चाहते हैं कि विपक्ष की मांग क्या है। हम सभी साथियों की मांग क्या है कि मन की बात बहुत हो गई अब मणिपुर की बात हो। विपक्ष का कहना है कि देश की संसद में मानसून सेशन चल रहा है और सेशन में अगर मणिपुर की चर्चा नहीं होगी तो कहां होगी। विपक्ष लगातार नोटिस दर्ज कराकर अपनी बात रख रहा है कि रूल 267 के अंतर्गत बहस कराई जाए। विपक्षी सांसदों के मुताबिक सरकार बहस शुरू करें अपना पक्ष रखें और विपक्ष अपना पक्ष रखें और तमाम सदस्य बोले और इस विचार विमर्श से ज़रूर कोई समाधान निकलेगा।

- विज्ञापन -

Latest News