चंडीगढ़: केन्द्र सरकार द्वारा गैंगस्टर लॉरैंस बिश्नोई पर सैंट्रल एजैंसी की रिपोर्ट के तहत सीआरपीसी की सैक्शन 268 के तहत 1 वर्ष की नजरबंदी लगा दी गई थी। बता दें कि इस फैसले के अंतर्गत किसी भी राज्य की पुलिस लॉरैंस का प्रोडक्शन वारंट नहीं ले सकती थी और लॉरैंस को 1 वर्ष तक गुजरात की साबरमती जेल में ही रहना था। आने वाली 30 अगस्त को लॉरैंस की नजरबंदी खत्म होने वाली है। अब इस मामले में देखने की विषय है कि केन्द्र सरकार लॉरैंस की नजरबंदी को लेकर समयावधि को बढ़ाती है या नहीं। वहीं कई राज्यों की पुलिस की नजर भी इस मामले पर टिकी हुई है कि लॉरैंस की नजरबंदी को लेकर केन्द्र सरकार क्या फैसला लेती है।