COVID की उत्पत्ति का पता लगाने के लिए डेटा साझा करने में पारर्दिशता बरते China : WHO

संयुक्त राष्ट्र/जिनेवाः विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्ल्यूएचओ) ने 2020 में वुहान के एक बाजार में लिए गए नमूनों से संबंधित डेटा को रोक कर रखने के लिए चीन की आलोचना की है, जो कोविड-19 महामारी की उत्पत्ति के बारे में महत्वपूर्ण जानकारी प्रदान कर सकता था। संगठन ने चीन को पारर्दिशता बरतने और जांच के परिणाम.

संयुक्त राष्ट्र/जिनेवाः विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्ल्यूएचओ) ने 2020 में वुहान के एक बाजार में लिए गए नमूनों से संबंधित डेटा को रोक कर रखने के लिए चीन की आलोचना की है, जो कोविड-19 महामारी की उत्पत्ति के बारे में महत्वपूर्ण जानकारी प्रदान कर सकता था। संगठन ने चीन को पारर्दिशता बरतने और जांच के परिणाम साझा करने के लिए कहा है। मध्य चीन के वुहान शहर का हुआनन बाजार महामारी का केंद्र था। सार्स-सीओवी-2 वहां उत्पत्ति के बाद से 2019 के अंत में तेजी से वुहान के अन्य स्थानों और फिर दुनिया के बाकी हिस्सों में फैल गया। विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्ल्यूएचओ) के महानिदेशक डॉ. टेड्रोस अदनोम गेब्रेयेसस ने शुक्रवार को जिनेवा में कहा, ‘‘कोविड??-19 की उत्पत्ति के अध्ययन से संबंधित डेटा के प्रत्येक हिस्से को तुरंत अंतरराष्ट्रीय समुदाय के साथ साझा करने की आवश्यकता है। ये डेटा तीन साल पहले साझा किए जाने चाहिए थे।’’

उन्होंने कहा, कि ‘हम चीन से डेटा साझा करने, आवश्यक जांच करने और परिणाम साझा करने में पारर्दिशता बरतने का आह्वान करते हैं। यह पता लगाना एक नैतिक व वैज्ञनिक अनिवार्यता बनी हुई है कि महामारी की उत्पत्ति कैसे हुई।’’ गेब्रेयेसस ने कहा कि पिछले रविवार को डब्ल्यूएचओ को जनवरी के अंत में जीआईएसएआईडी डेटाबेस पर डेटा प्रकाशित करने के बारे में अवगत कराया गया था और हाल ही में इसे फिर से हटा लिया गया। उन्होंने कहा, कि ‘चीन के रोग नियंत्रण एवं रोकथाम केंद्र का यह डेटा 2020 में वुहान में हुआनन बाजार में लिए गए नमूनों से संबंधित है।’’

गेब्रेयेसस ने कहा कि जब डेटा ऑनलाइन था, तो कई देशों के वैज्ञनिकों ने उसे डाउनलोड करके उसका वेिषण किया। उन्होंने कहा, ‘‘जैसे ही हमें इस डेटा के बारे में पता चला, हमने चीन के रोग नियंत्रण एवं रोकथाम केंद्र से संपर्क किया और उनसे इसे डब्ल्यूएचओ व अंतरराष्ट्रीय वैज्ञनिक समुदाय के साथ साझा करने का आग्रह किया, ताकि इसका विषेण किया जा सके।’’ गेब्रेयेसस ने कहा कि डब्ल्यूएचओ ने वायरस की उत्पत्ति से संबंधित वैज्ञनिक सलाहकार समूह (एसएजीओ) की बैठक आहूत की और इसकी बैठक मंगलवार को बैठक हुई। डब्ल्यूएचओ प्रमुख ने कहा, कि ‘हमने चीन के रोग नियंत्रण एवं रोकथाम केंद्र के वैज्ञनिकों और अंतरराष्ट्रीय समूह के वैज्ञनिकों से डेटा का अपना वेिषण एसएजीओ को प्रस्तुत करने के लिए कहा। ये डेटा इस सवाल का निश्चित जवाब नहीं देता कि महामारी की शुरुआत कैसे हुई, लेकिन हमें उस जवाब के करीब ले जाने में डेटा का हर अंश महत्वपूर्ण है।’’

पशुओं को तब बाजार से हटा दिया गया था और शोधकर्ताओं ने दीवारों और उन्हें लाने ले जाने में इस्तेमाल पिजरों व गाड़ियों से नमूने लिए थे।विषेण में शामिल तीन वैज्ञनिकों के हवाले से खबर में कहा गया है, ‘‘जिन नमूनों में कोरोना वायरस संक्रमण मिला, उनमें अंतरराष्ट्रीय शोध दल ने जानवरों से संबंधित अनुवांशिक सामग्री पाई, जिसमें बड़ी मात्र में रैकून कुत्ते का डीएनए भी शामिल था।’’ खबर में कहा गया है कि अंतरराष्ट्रीय टीम ने नये डेटा से सामना होने के बाद उन चीनी शोधकर्ताओं से सहयोग की पेशकश के साथ सम्पर्क किया जिन्होंने उक्त डेटा अपलोड किया था। हालांकि, बाद में डेटा जीआईएसएआईडी से हटा लिया गया। खबराें में कहा गया है कि वायरस और पशुओं से अनुवांशिक सामग्री का ‘‘एक साथ मिलना’’ यह साबित नहीं करता है कि एक रैकून कुत्ता खुद संक्रमित था। खबराें में कहा गया है, ‘‘यहां तक ??कि अगर कोई रैकून कुत्ता संक्रमित हो भी गया था, तो यह स्पष्ट नहीं होता कि उससे यह वायरस फैला था। हो सकता है कि किसी दूसरे पशु से वायरस मनुष्य में फैला हो, या वायरस से संक्रमित किसी व्यक्ति से वायरस रैकून कुत्ते में फैला हो।’’

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